शिवालयों में खास आयोजन, कोराडी शिव मंदिर में होगा रुद्राभिषेक

Special event rudrabhishek will be held at koradi shiva temple
शिवालयों में खास आयोजन, कोराडी शिव मंदिर में होगा रुद्राभिषेक
शिवालयों में खास आयोजन, कोराडी शिव मंदिर में होगा रुद्राभिषेक

डिजिटल डेस्क, नागपुर। कोराडी माता के शिव मंदिर में महाशिवरात्रि पर्व पर 21 फरवरी को शिवलिंग लघु रुद्राभिषेक का आयोजन किया गया है। संस्थान के अध्यक्ष एड. मुकेश शर्मा, सचिव केशवराव फुलझेले महाराज एवं विश्वस्त गण ने बताया कि, दो वर्ष से चल रहे विकास कार्यों के तहत कोराडी महालक्ष्मी जगदंबा मंदिर और शिव मंदिर का जीर्णोद्धार हुआ है। शिव मंदिर में 21 फरवरी को पं. युवराज पालीवाल और उनके सहपाठियों की पांडित्य में विधि विधान से रात 8 से 12 बजे तक पूर्व ऊर्जामंत्री तथा संस्थान के प्रमुख मार्गदर्शक चंद्रशेखर बावनकुले के हाथों शिवलिंग का लघु रुद्र अभिषेक किया जाएगा। मंदिर को रोशनाई से सजाया गया है। संस्थान ने अनुरोध ने भक्तों से बड़ी संख्या में उपस्थित रहने की अपील की है। हरिओम बाबा गौशाला, लसनपुर में 21 फरवरी को महाशिवरात्रि उत्सव मनाया जाएगा। अध्यक्ष ओमप्रकाश अग्रवाल ने बताया कि सुबह 9.30 बजे बाबा की आरती एवं अभिषेक होगा। मेघमंडल महादेव में ट्रस्टी संतोषकुमार अग्रवाल द्वारा रुद्राभिषेक कराया जाएगा। सुबह 11 से संध्या. 5 बजे तक फलाहार प्रसाद का वितरण किया जाएगा। इस पुण्य पर्व पर हजारों की संख्या में भक्त दर्शन का लाभ लेते हैं। कार्यक्रम के सफलतार्थ सचिव राजेश खंडेलवाल, सजन गोयल, मधु खंडेलवाल, दिलीप लोहिया, घनश्याम पुरोहित आदि प्रयासरत है। सावरबांधे ले आउट स्थित शिव मंदिर में महाशिवरात्रि पर दो दिवसीय धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है। 21 फरवरी को सुबह 7 बजे शैलेष गोपावार व उनकी पत्नी शीतल गोपावार के हाथों महाभिषेक मंत्रोच्चार के साथ किया जाएगा। इस अवसर पर देशपांडे महाराज दंपतियों से सामूहिक अभिषेक करवाएंगे। दोपहर 12 बजे पूर्णाहुति होगी जिसमें श्रद्धालु हिस्सा लेंगे। दोपहर 3 बजे शारदा महिला भजन मंडल का भजन होगा। दोपहर बाद फलाहार व प्रसाद वितरण होगा। शाम 6 बजे आरती होगी। रात 9 बजे भजन का आयोजन किया गया है। 12 बजे महाआरती होगी। 22 फरवरी को सुबह 7 बजे मंगल स्नान व आरती-पूजन के बाद शिवदर्शन का लाभ श्रद्धालु ले सकेंगे। दोपहर 12 बजे भक्ति गीत व 3 बजे भजन-कीर्तन होगा। 7 बजे आरती के बाद महाप्रसाद शुरू होगा। यशोदादेवी पेद्दुलवार के मार्गदर्शन में आयोजित कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए राजू फाले, विजय फाले, धनराज चिखले, स्वप्निल सोमशेट्टीवार, विकास अतकर, अमोल गाणार, सुधाकर भलावी, राजू शेट्टे, सुधाकर नागपुरे प्रयासरत हैं। कार्यक्रम में अधिक से अधिक संख्या में उपस्थित रहने का आह्वान राजू पेद्दुलवार ने किया है।

महाशिवरात्रि के लिए तैयारी जोरों पर

वहीं शहर तथा ग्रामीण क्षेत्र में महाशिवरात्रि पर्व पर अपने ईष्टदेव भगवान भोलेबाबा की आराधना करने शिवभक्तों का उत्साह चरम पर पहंुच गया है। सभी शिवालयों को तोरण पताका, रंगरोगन व आकर्षक रोशनाई से सुज्जित किया गया है। 

कामठेश्वर शिवालय

प्राचीन देवालयों की श्रृंखला में भोसले राजाओं द्वारा कर्णिका संगम तट पर कामठेश्वर शिवालय शिवभक्तों की भक्ति का प्रथम स्थान माना गया है। यहां महाशिवरात्रि पर शिवभक्तों का जनसैलाब अपने ईष्टदेव की पूजा-अर्चना के लिए उमड़ पड़ता है। अनेक वर्षों से मंदिर को भव्य स्वरूप देने के लिए शिवभक्त तन-मन-धन से जुटे हुए हैं। 21 फरवरी को प्रात: 4 बजे विशेष यजमानों द्वारा कामठेश्वर शिवालय का विद्वान पंडितों द्वारा अभिषेक, सामूहिक महाआरती की जाएगी। इसके पश्चात शिवभक्तों के दर्शनार्थ मंदिर का द्वार खोला जाएगा। 

शिव हनुमान मंदिर

छावनी परिषद स्थित त्रिवेणी संगम महादेव घाट शिव हनुमान मंदिर अतिप्राचीन शिवालय की श्रेणी में आता है। शिवभक्तों की सभी मनोकामना पूर्ण करने वाला मंदिर माना जाता है। मंदिर के प्रवेश द्वार पर भगवान शिव की भव्य मनमोहक प्रतिमा शिव भक्तों को शिव की भक्ति में आकर्षित करती है। प्रकृति की हरियाली में कलकल बहती तीन नदियों का संगम भगवान शिव का साक्षात दर्शन इसी मंदिर में मिलता है। शिवालय को भव्य रूप देने में स्व. दर्शनलाल भुटानी का विशेष याेगदान रहा है। यह मंदिर धार्मिक आयोजनों में हमेशा अग्रसर रहता है। 21 फरवरी को महाशिवरात्रि पर्व पर शिवभक्तों द्वारा अभिषेक, आराधना व दर्शन के लिए मेला लगा रहेगा। 

जागनाथ भोलेबाबा मंदिर

कामठी शहर के मध्य क्षेत्र में अतिप्राचीन जागनाथ भोलेबाबा मंदिर, रायबहादुर ओली स्थित डागा परिवार का निजी मंदिर जाना जाता है। यह मंदिर शिवभक्तों की सभी मनोकामना पूर्ण करने के नाम से विख्यात है। शिवरात्रि पर्व के लिए मंदिर पूरी तरह से सुसज्जित हो गया है। 21 फरवरी को प्रात: से ही देर शाम तक शिवभक्तों का अभिषेक, पूजा-अर्चना, आराधना करने तांता लगा रहेगा। भगवान जागनाथ की शाम 7 बजे, रात 9 बजे सामूहिक महाआरती होगी। भगवान शिव व भगवान जागनाथ की भव्य झांकी भी सजाई जाएगी। जिसके दर्शनार्थ शिवभक्तों का मंदिर में मेला लगा रहेगा। 

ओमकारेश्वर शिवालय

कसार ओली स्थित अतिप्राचीन मंदिर का नवनिर्माण ओमकारेश्वर शिवालय के रूप में किया गया है। जहां शिवभक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होने की प्रथा है। मंदिर में महाशिवरात्रि पर्व पर रुद्राभिषेक, अभिषेक करने वाले शिवभक्तों का सुबह लेकर शाम तक तांता लगा रहेगा। 
शहर तथा ग्रामीण क्षेत्र के शिवालयों में स्फटिक शिवालय, अल्केश्वर बालाजी शिवालय, गुड़ ओली स्थित सीताराम मंदिर शिवालय, तुमडीपुरा स्थित नरसिंह मंदिर शिवालय, गोराबाजार स्थित रुद्रावतार मंदिर शिवालय, अतिप्राचीन दक्षिण पंथी समाज द्वारा प्राणप्रतिष्ठित मोदी राम मंदिर शिवालय में भी शिवरात्रि पर्व पर शिवभक्तों का अभिषेक, पूजा-अर्चना, दर्शनलाभ लेने श्रद्धालुओं का तांता लगा रहेगा। शहर के अन्य मंदिरों में विराजित भगवान शिव का अभिषेक, पूजा-अर्चना जारी रहेगी।

त्र्यंबकेश्वर देवस्थान में अखंड हरिनाम सप्ताह 21 से

इसके अलावा पारशिवनी में महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर अखंड हरिनाम सप्ताह महोत्सव का आयोजन 21 से 23 फरवरी तक किया गया है। पहले दिन 21 फरवरी को दोपहर 12 बजे ब्रह्म मुहूर्त पर हरिभक्त पारायण उमेशकुमार भिवंडे महाराज, पारशिवनी के हाथों कलश स्थापन तथा रात में 12 बजे रूद्राभिषेक होगा। उसके बाद दोपहर 1 से शाम 6 बजे तक पारशिवनी के नारी शक्ति भजन मंडल, श्री सप्तश्रृंगी भजन मंडल, द्वारकामाई भजन मंडल के भजन होंगे तथा हेटी सुरला के बाल कीर्तनकार महेश डवरे का रात 7.30 से 10 बजे तक कीर्तन तथा कीर्तिताई बान्ते महाराज, भंडारा के कीर्तन होंगे। दूसरे दिन 22 फरवरी को दोपहर 1 से शाम 5 बजे तक शिवगौरी भजन मंडल, श्री साईंबाबा भजन मंडल एवं ज्ञानेश्वरी भजन मंडल के भजन होंगे। रात 8 से 10 बजे तक भंडारा के कीर्तिताई बान्ते महाराज के कीर्तन होंगे एवं अंतिम दिन 23 फरवरी को सुबह 9 से दोपहर 1 बजे तक श्री माऊली की पालकी दिंडी भजन मंडल के साथ शोभायात्रा नगर के विभिन्न मार्गों से भ्रमण करते हुए कार्यस्थल पर पहुंचेगी। दोपहर 2 से शाम 5 बजे तक पाटणसावंगी के श्री गणेशजी काले महाराज का गोपालकाला का कीर्तन होगा। इसके पश्चात महाप्रसाद का कार्यक्रम होगा। इस अवसर पर विभिन्न गांवों की पालकी दिंडी, भजन मंडल, वीणा वादक गायक, टालकरी आदि मंडल बड़ी संख्या में शामिल होंगे। उपरोक्त महोत्सव में अधिकाधिक संख्या में भक्तों से उपस्थित रहने का अनुरोध सार्वजनिक  श्री त्र्यंबकेश्वर देवस्थान व पदाधिकारियों ने किया है।

Created On :   19 Feb 2020 3:46 PM IST

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