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Nagpur News: होगी कार्रवाई , 44 सरकारी विभागों पर 93 करोड़ का कर बाकी
- मनपा आयुक्त का आह्वान
- टैक्स भुगतान कर अभय योजना का लाभ लें
- 8 विभागों को भेजेंगे पत्र
Nagpur News महानगरपालिका के संपत्ति कर विभाग ने इस साल 350 करोड़ रुपए कर वसूली का लक्ष्य निर्धारित किया है। इस दिशा में संपत्ति कर विभाग के साथ ही सभी जोन कार्यालयों को कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। ऐसे में अब संपत्ति कर विभाग ने सरकारी विभागों से बकाया संपत्ति कर वसूली को लेकर अभियान छेड़ दिया है। विभाग से हाल ही में तैयार सूची में 44 सरकारी विभागों को चिन्हित किया गया है। इन विभागों पर सालों से संपत्ति कर के रूप में 93 करोड़ 81 लाख 37 हजार 300 रुपए की राशि प्रलंबित है। इस मूल राशि के साथ ही सास्ती और दंड की रकम मिलाकर करीब 60 करोड़ रुपए की अतिरिक्त राशि की देनदारी बन रही है। मनपा आयुक्त से पहले चरण में 8 सरकारी विभागों को पत्र भेजने कर अभय योजना में शामिल होने का आवाहन किया जा रहा है। इसके बाद अन्य 36 विभागों को भी संपत्ति कर की मूल राशि का भुगतान कर दंड की राशि में अभय योजना में रियायत पाने के लिए आह्वान किया जाएगा।
31 मार्च तक 80 फीसदी रियायत मनपा प्रशासन ने पुराने प्रलंबित संपत्ति कर के भुगतान के लिए अभय योजना को 1 जनवरी से लागू किया है। मूल राशि पर सास्ती और दंड की राशि में 80 फीसदी रियायत 31 मार्च तक दी जाएगी। इस योजना में 93 करोड़ 81 लाख रुपए के प्रलंबित संपत्ति कर के भुगतान को पाने के लिए 44 सरकारी विभागों को चिन्हित किया गया है। इन विभागों में शासकीय आयुर्वेदिक कॉलेज, सार्वजनिक स्वास्थ्य विभाग की प्रयोगशाला, ग्रामीण पुलिस अधीक्षक कार्यालय, हुडकेश्वर, सक्करदरा, यशोधरा नगर, धंतोली पुलिस स्टेशन समेत गवर्नमेंट पालिटेक्निक, समाज कल्याण विभाग, ग्रामीण तहसील कार्यालय का समावेश है।
पहले चरण में इन्हें पत्र : इनमें से 8 विभागों को पहले चरण में मनपा आयुक्त से पत्र भेजकर अभय योजना का लाभ उठाते हुए संपत्ति कर भुगतान करने का निर्देश दिया जा रहा है। इन विभागों में पुलिस डीआईजी हाउस बोरगांव (8 करोड़ 31 लाख रुपए), ग्रामीण तहसील कार्यालय (2 करोड़ 21 लाख), ग्रामीण परिवहन कार्यालय (25 करोड़ 39 लाख), सीआईडी पुलिस अधीक्षक (30 लाख 88 हजार), विभागीय क्रीड़ा संकुल मानकापुर (12 करोड़ 87 लाख), पुलिस ट्रेनिंग स्कूल (4 करोड़ 25 लाख), पुलिस होस्टल (4 करोड़ 13 लाख), रानी दुर्गावती पुलिस होस्टल (2 करोड़ 72 लाख) का समावेश है। इन विभागों को जल्द ही पत्र भेजा जाएगा।
31 मार्च तक अभय योजना लागू : शहर में संपत्तिधारकों से कर भुगतान नहीं होने पर 2 फीसदी प्रतिमाह का दंड लगाया जाता है। 31 दिसंबर 2024 तक शहर में 2,86,399 संपत्तिधारकांे पर 850 करोड़ 10 लाख 73 हजार रुपए की बकाया राशि पर 770 करोड़ 45 लाख 28 हजार का दंड लगाया गया है। इसमें से सरकारी और गैर-सरकारी संपत्ति समेत विवादित मामलों में 227.00 करोड़ रुपए बकाया का भी समावेश है।
कुल 200 करोड़ वसूली का अनुमान : महाराष्ट्र महानगरपालिका अधिनियम 1949 के परिशिष्ट 'ड' प्रकरण-8 में कराधान नियम 42 में संपत्ति कर भुगतान करने वाले व्यक्ति को जुर्माना अथवा ब्याज अथवा दोनों समेत संपत्ति कर भुगतान नहीं करने पर स्थायी संपत्ति की जब्ती कर प्रक्रिया के खर्च शुल्क को भी वसूल किया जाता है। इस योजना में 1 जनवरी से 31 मार्च तक बकाया संपत्ति कर को केवल 20 फीसदी दंड समेत भुगतान करना आवश्यक है। बकाया संपत्ति कर समेत 20 फीसदी शास्ती/दंड में करीब 200 करोड़ रुपए की वसूली का अनुमान है। योजना का लाभ नहीं उठाने पर महाराष्ट्र महानगरपालिका अधिनियम 1949 के कराधान नियमों में कार्रवाई की जाएगी।
10 जोन में 154 जब्ती वारंट जारी : महानगरपालिका के संपत्ति कर विभाग अंतर्गत 10 जोन कार्यालयों से कर वसूली को लेकर सोमवार को भी सख्ती से अभियान को चलाया गया। इस दौरान शहर के 10 जोन में 1 करोड़ 55 लाख रुपए के संपत्ति कर वसूली के लिए 154 जब्ती वारंट जारी किए गए। इस दौरान करीब 24 संपत्तिधारकों ने तत्काल 20 लाख 5 हजार रुपए का संपत्ति कर भुगतान कर दिया। करीब 108 वारंट कार्रवाई के तहत 112 लाख रुपए की वसूली के लिए जब्ती प्रक्रिया पूरी की गई। सोमवार को सर्वाधिक 40 जब्ती वारंट आसीनगर जोन में 52 लाख 37 हजार रुपए की राशि की वसूली के लिए जारी किए गए। इसके अलावा धंतोली, हनुमाननगर, गांधीबाग, लकड़गंज, मंगलवारी समेत अन्य जोन में जब्ती कार्रवाई की गई।
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- 21 Jan 2025 11:39 AM IST
वसूली को लेकर अभियान
महानगरपालिका के संपत्ति कर विभाग ने इस साल 350 करोड़ रुपए कर वसूली का लक्ष्य निर्धारित किया है। इस दिशा में संपत्ति कर विभाग के साथ ही सभी जोन कार्यालयों को कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। ऐसे में अब संपत्ति कर विभाग ने सरकारी विभागों से बकाया संपत्ति कर वसूली को लेकर अभियान छेड़ दिया है। विभाग से हाल ही में तैयार सूची में 44 सरकारी विभागों को चिन्हित किया गया है। इन विभागों पर सालों से संपत्ति कर के रूप में 93 करोड़ 81 लाख 37 हजार 300 रुपए की राशि प्रलंबित है। इस मूल राशि के साथ ही सास्ती और दंड की रकम मिलाकर करीब 60 करोड़ रुपए की अतिरिक्त राशि की देनदारी बन रही है। मनपा आयुक्त से पहले चरण में 8 सरकारी विभागों को पत्र भेजने कर अभय योजना में शामिल होने का आवाहन किया जा रहा है। इसके बाद अन्य 36 विभागों को भी संपत्ति कर की मूल राशि का भुगतान कर दंड की राशि में अभय योजना में रियायत पाने के लिए आह्वान किया जाएगा।
Created On :   21 Jan 2025 11:37 AM IST