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बॉम्बे हाईकोर्ट: रोहित पवार द्वारा नियंत्रित चीनी फैक्ट्री पर फैसला सुरक्षित
- 19 अक्टूबर को अदालत का आएगा फैसला
- बारामती एग्रो द्वारा पर्यावरण के मानदंडों का किया गया गंभीर उल्लंघन
- महाराष्ट्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का दावा
डिजिटल डेस्क, मुंबई. बॉम्बे हाई कोर्ट ने राकांपा (शरद पवार गुट) विधायक रोहित पवार द्वारा संचालित बारामती एग्रो लिमिटेड पर कार्रवाई को लेकर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। सोमवार को सुनवाई के दौरान अदालत में महाराष्ट्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (एमपीसीबी) ने दावा किया कि बारामती एग्रो द्वारा पर्यावरण के मानदंडों का गंभीर उल्लंघन कर रहा है। एमपीसीबी ने पर्यावरणीय मानदंडों का गंभीर उल्लंघन पाए जाने के बाद फैक्ट्री को नोटिस देकर बंद करने का आदेश दिया था।
न्यायमूर्ति नितिन जामदार और न्यायमूर्ति मंजूषा देशपांडे की खंडपीठ के समक्ष सोमवार को बारामती एग्रो लिमिटेड की ओर से वकील अक्षय प्रकाश शिंदे की दायर याचिका पर सुनवाई हुई। याचिका में एमपीसीबी के फैक्ट्री को नोटिस देकर बंद करने के आदेश को चुनौती दी गयी थी। सुनवाई के दौरान एमपीसीबी के वकील ने कहा कि बारामती एग्रो लिमिटेड जल (प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण) अधिनियम और वायु (प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण) अधिनियम का उल्लंघन कर रहा है।
फैक्ट्री संचालन की सहमति और पर्यावरण मंजूरी दस्तावेजों में उल्लेखित मानदंडों का पालन करने में विफल रहा है। फैक्टरी के संचालन से पर्यावरणीय खतरा पैदा हो गया है। याचिकाकर्ता को तब तक परिचालन जारी रखने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए, जब तक कि पर्यावरण को लेकर उचित उपाय नहीं किए जाते हैं।
याचिकाकर्ता के वकील जे.पी.सेन ने कहा कि एमपीसीबी की ओर से पूर्व-निर्धारित या पक्षपातपूर्ण तरीके से नोटिस जारी कर बंद करने का निर्देश दिया गया। याचिकाकर्ता ने कंपनी की ओर से पर्यावरण के गंभीर उल्लंघनों को अस्वीकर किया गया। खंडपीठ ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अपना फैसला 19 अक्टूबर तक के लिए सुरक्षित रखा है।
Created On :   16 Oct 2023 7:44 PM IST