सुसाइड: मराठा आरक्षण और बेटे को नौकरी न मिलने से निराश बुजुर्ग ने की ख़ुदकुशी

मराठा आरक्षण और बेटे को नौकरी न मिलने से निराश बुजुर्ग ने की ख़ुदकुशी
आलंदी में इंद्रायणी नदी में मिली लाश; पुणे जिले में मची खलबली

डिजिटल डेस्क, पुणे। मराठा समुदाय को आरक्षण और अनुकंपा के आधार पर नौकरियां नहीं मिलने से अवसाद में आकर एक बुजुर्ग वेंकट ढोपरे ने बेहद बड़ा कदम उठाया है। उन्होंने इंद्रायणी नदी में कूदकर अपनी जान दे दी। उनका शव शनिवार को पुणे के आलंदी में इंद्रायणी नदी में मिला। वह कल नरहे अंबेगांव से दर्शन के लिए आलंदी आये थे। सुबह करीब 11 बजे वे वहां से निकले और परिवार को घर में एक नोट मिला। इसमें कहा गया है कि, मराठा समुदाय को इसमें आरक्षण नहीं मिल रहा है, मैं जब सरपंच था तब से प्रयास कर रहा हूं, लेकिन सरकार इसे गंभीरता से नहीं ले रही है। साथ ही 2012 से मेरे बेटे को अनुकंपा पर नौकरी नहीं दी गयी है। हम उसे नौकरी दिलाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन प्रशासन हमें न्याय नहीं दे रहा है, मैं अवसाद के कारण आत्महत्या कर रहा हूं।

घर में सुसाइड नोट मिलने के बाद ढोपरे के परिजनों ने पिंपरी चिंचवड़ के भोसरी में रहने वाले उनके दामाद को नोट के बारे में जानकारी दी। उन्होंने आलंदी पुलिस से संपर्क किया और आलंदी में उसकी तलाश करते समय इंद्रायणी नदी के तटबंध के पास ढोपरे का बैग, मोबाइल फोन, हार, चप्पलें और ज्ञानेश्वरी के कुछ कागजात मिले। पुलिस और एनडीआरएफ द्वारा उसी तटबंध में खोजबीन शुरू की गयी। उनका शव आज दोपहर तटबंध के पास मिला। चूंकि वे तैर सकते हैं, इसलिए पुलिस को संदेह है कि उन्होंने अपने हाथ बांध लिए होंगे और इंद्रायणी नदी में कूद गए होंगे। पुलिस ने कहा कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट से अधिक जानकारी सामने आएगी। बहरहाल सुसाइड नोट के सामने आने से पुणे जिले में खलबली मच गई है।

ग्राम पंचायत सदस्य पद से इस्तीफा : मराठा समुदाय को आरक्षण दिलाने के लिए कोल्हापुर में पाडली खुर्द (करवीर तालुका) की ग्राम पंचायत सदस्य, पूर्व उपसरपंच नीलम अमित कांबले ने आज अपने पद से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने अपना त्यागपत्र कलेक्टर को दिया है। उन्होंने चेतावनी दी कि सरकार जल्द से जल्द आरक्षण दे, अन्यथा जिले की स्थानीय स्वशासन संस्थाओं के सदस्यों से संपर्क कर आंदोलन को व्यापक बनाया जायेगा। कांबले ने कहा, 'मराठा समाज का आर्थिक स्तर खराब हो गया है। मराठा समुदाय दलित समुदाय का बड़ा भाई है। आपने ढाई वर्ष तक सदस्य के रूप में कार्य किया तथा उपसरपंच के रूप में भी कार्य किया। मैं मराठा समुदाय के प्रति आभार व्यक्त करने के लिए अपनी और अपने समुदाय की ओर से इस आंदोलन का समर्थन कर रही हूं। किसी भी समुदाय के आरक्षण को प्रभावित किए बिना स्थायी आरक्षण दिया जाना चाहिए। मराठा और दलित समुदाय की आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक समस्याएं बढ़ी हैं। सरकार को इनका समाधान करने का प्रयास करना चाहिए, नहीं तो भविष्य में इसका प्रकोप होगा।'

Created On :   28 Oct 2023 6:16 PM IST

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