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रिश्वतखोरी...: लाइसेंस के लिए फाइल आगे बढ़ाने मांगी 4 लाख की रिश्वत , रकम लेते रंगेहाथ पकड़ाया
- एसीबी के जाल में फंसा अधिकारी
- रेस्टारेंट और बियर बार के लिए लाइसेंस की फाइल रोक रखी थी
- शिकायतकर्ता ने एसीबी से की शिकायत
डिजिटल डेस्क, नागपुर । भ्रष्टाचार प्रतिबंधक विभाग (एसीबी) ने गुरुवार को राज्य उत्पादन शुल्क विभाग और एक अधिकारी के निवास स्थान पर छापामारा। निरीक्षक स्तर के अधिकारी को होटल व्यापारी से लाखों रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ धर दबोचा गया है। विभाग के कुछ अन्य अधिकारी भी रडार पर हैं। कार्रवाई से राज्य उत्पादन शुल्क विभाग में हड़कंप मचा रहा। बर्डी थाने में प्रकरण दर्ज कर आरोपी अधिकारी को गिरफ्तार किया गया है।
यह है पूरा मामला : आरोपी रवींद्र लक्ष्मण कोकरे (49) राज्य उत्पादन शुल्क विभाग के ई-विभाग में बतौर निरीक्षक है, जबकि शिकायतकर्ता 31 वर्षीय व्यापारी फ्रेंडस कालोनी निवासी है। शिकायतकर्ता को रेस्टाेरेंट और बियर बार के लिए एफएल-3 नामक राज्य उत्पादन शुल्क विभाग के लाइसेंस की जरूरत थी। उसके लिए उसने विभाग में आवेदन किया था।
3 लाख 25 हजार पर बात तय हुई : कई बार विभाग में दौड़ने के बाद भी आरोपी रवींद्र उसकी फाइल आगे ही नहीं बढ़ा रहा था। न तो वेरिफिकेशन किया और न ही विभाग के अधीक्षक के पास फाइल भेजी। इसके बदले में आरोपी ने 4 लाख रुपए के रिश्वत की मांग की थी। सौदा 3 लाख 25 हजार रुपए में हुआ, मगर शिकायतकर्ता की रिश्वत देने की मंशा नहीं थी। उसने भ्रष्टाचार प्रतिबंधक विभाग को शिकायत की।
टीम ने सुनियोजित ढंग से कार्रवाई की : प्रकरण की गंभीरता से तय योजना के तहत गुरुवार को आरोपी के कक्ष में छापा मारा गया, जहां पर रिश्वत की रकम स्वीकार करते हुए उसे रंगेहाथ पकड़ा गया है। पश्चात आरोपी के निवास स्थान पर भी छापा मारा गया। देर रात तक चली कार्रवाई के दौरान उसके चल-अचल संपत्ति की जांच-पड़ताल की जा रही थी।
और भी अधिकारियों से पूछताछ संभव : घटित प्रकरण से राज्य उत्पादन शुल्क विभाग के कुछ अन्य अधिकारी भी भ्रष्टाचार प्रतिबंधक विभाग के निशाने पर आ गए हैं। लाखों रुपए की रिश्वत प्रकरण में और भी अधिकारियों की लिप्तता की आशंका है। उन अधिकारियों से भी विभाग पूछताछ करने वाला है। अधीक्षक राहुल माखनीकर, अपर अधीक्षक संजय पुरंदरे के मार्गदर्शन में निरीक्षक प्रवीण लाकडे, सारंग बालपांडे, अस्मिता मेश्राम, विकास सायरे और राजू जांंभुलकर ने कार्रवाई की है।
टीम को देखकर फेंकी रिश्वत की रकम : आरोपी रवींद्र ने जैसे ही रिश्वत की रकम ली, वैसे ही भ्रष्टाचार प्रतिबंधक विभाग की टीम उसे घेरने के लिए आगे बढ़ी। खुद के पकड़े जाने का एहसास होते ही रवींद्र ने रिश्वत की रकम जमीन पर फेंक दी और गिड़गड़ाने लगा, लेकिन तब तक वह विभाग के जाल में फंस चुका था।
Created On :   17 May 2024 12:00 PM IST