आदेश: समस्या गंभीर : देश में रेबीज से कितने लोगों की मौत हुई है डेटा तैयार करें

समस्या गंभीर : देश में रेबीज से कितने लोगों की मौत हुई है डेटा तैयार करें
  • श्वानों का उत्पात जारी है, इसकी वजह से नागरिक परेशान
  • पांच वर्षीय लड़के को आवारा श्वानों ने नोंच-नोंच कर मार डाला था
  • जगह का सर्वे करके आवारा श्वानाें को रखने के लिए जगह निर्धारित करने के आदेश

डिजिटल डेस्क, नागपुर। बॉम्बे हाई कोर्ट की नागपुर खंडपीठ में शहर के आवारा श्वानों की गंभीर समस्या पर जनहित याचिका प्रलंबित है। इस मामले में गुरुवार को हुई सुनवाई में कोर्ट ने अब तक देश में रेबीज से कितने लोगों की मौत हुई इसका डेटा दायर करने याचिकाकर्ता को मौखिक आदेश दिए। नागपुर खंडपीठ में विजय तालेवार और मनोज शाक्य ने यह जनहित याचिका दायर की है।

आवारा श्वानों के लिए जगह निर्धारित करें :आवारा श्वानों को पकड़कर शहर के बाहर रखने के लिए जिलाधिकारी ने 47 जगह तलाश की है। इसलिए कोर्ट ने मनपा को आदेश दिया है कि जगह का सर्वे करके आवारा श्वानाें को रखने के लिए जगह निर्धारित करें।

श्वानों की नसबंदी से समस्या का समाधान नहीं : पिछले साल काटोल के एक पांच वर्षीय लड़के को आवारा श्वानों ने नोंच-नोंच कर मार डाला था। शहर में आवारा श्वानों का उत्पात जारी है, इसकी वजह से नागरिक परेशान हैं। इसलिए याचिकाकर्तां ने मनपा द्वारा श्वानों को पकड़े जाने के बाद उचित कदम उठाने की भी मांग की है। महानगरपालिका अधिनियम में शहर के आवारा श्वानों को बंदी करके रखने का प्रावधान है। सिर्फ श्वानों की नसबंदी से समस्या का समाधान नहीं होगा। इसलिए शहर के आवारा श्वानों को बंदी करके रखने की क्या व्यवस्था है इस बारे में कोर्ट ने मनपा से जवाब दायर करने के आदेश दिये थे। साथ ही कोर्ट ने आवारा श्वानों को पकड़कर शहर के बाहर रखने के लिए जगह उपलब्ध कराने के जिलाधिकारी को आदेश दिए थे।

मनपा करे जगह का चुनाव :पिछली सुनवाई में जिलाधिकारी विपीन इटनकर ने शपथपत्र दायर करते हुए कोर्ट को बताया कि, आवारा श्वानों को शहर के बाहर रखने के लिए कुल 47 जगह की तलाश की गई है। मनपा को इनमें से जो जगह चाहिए उसका चुनाव करे। जिलाधिकारी द्वारा दायर यह शपथपत्र कोर्ट ने अपने रिकार्ड पर लिया था। इस मामले पर गुरुवार को न्या. अविनाश घरोटे और न्या. एम. एस. जवलकर के समक्ष सुनवाई हुई। तब कोर्ट ने उक्त आदेश दिए। याचिकाकर्तां की ओर से एड. फिरदौस मिर्जा ने पैरवी की। इस मामले में कोर्ट ने अगली सुनवाई चार सप्ताह बाद रखी है।

Created On :   1 March 2024 11:14 AM IST

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