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विवाद: अंबाझरी बांध की सुरक्षा को लेकर जनहित याचिका , विवेकानंद स्मारक को लेकर मनपा का यू-टर्न
- अब कहा स्मारक की जगह "रिक्रिएशन जोन'
- हाई कोर्ट में नया हलफनामा दायर
- नो डेवलपमेंट जोन' में बनाए जाने की बात स्वीकारी
डिजिटल डेस्क, नागपुर। बाॅम्बे हाई कोर्ट के नागपुर खंडपीठ में अंबाझरी बांध की सुरक्षा को लेकर जनहित याचिका दायर है। इस मामले में मनपा ने अंबाझरी तालाब के पास निर्मित विवेकानंद स्मारक "नो डेवलपमेंट जोन' में बनाए जाने की बात स्वीकार की थी, लेकिन अब तीन दिन के भीतर ही मनपा ने इस बात से यू-टर्न लिया है। मनपा ने कोर्ट में नया हलफनामा दायर करते हुए बताया कि जिस स्थान पर स्मारक बनाया गया है वहबाॅम्बे हाई कोर्ट के नागपुर खंडपीठ में अंबाझरी बांध की सुरक्षा को लेकर जनहित याचिका दायरबाॅम्बे हाई कोर्ट के नागपुर खंडपीठ में अंबाझरी बांध की सुरक्षा को लेकर जनहित याचिका दायरबाॅम्बे हाई कोर्ट के नागपुर खंडपीठ में अंबाझरी बांध की सुरक्षा को लेकर जनहित याचिका दायर-"रिक्रिएशन जोन' में आता है।
अवैध निर्माणों पर सवाल : मनपा, नासुप्र और महामेट्रो इन तीनों प्रशासनों की ओर से अंबाझरी व नाग नदी परिसर में किया हुआ निर्माण गलत है। इस कारण पिछले साल सितंबर महीने में इस परिसर में बाढ़ आई और हजारों लोगो को नुकसान सहना पड़ा। इसलिए मामले की न्यायालयीन जांच की मांग करते हुए नुकसानग्रस्त रामगोपाल बचुका, जयश्री बनसोड, नत्थुजी टिक्कस ने नागपुर खंडपीठ में जनहित याचिका दायर की है। याचिका में अंबाझरी तालाब और नाग नदी परिसर के अवैध निर्माणों पर सवाल उठाया गया है।
कोर्ट ने पिछली सुनवाई में अंबाझरी तालाब के पास "नो डेवलपमेंट जोन' में विवेकानंद स्मारक के निर्माण के लिए मनपा को फटकार लगाई थी। पिछली सुनवाई के दौरान जानकारी पेश की गई थी कि सिंचाई विभाग ने 2018 में इस गलत निर्माण के बारे में मनपा प्रशासन को सूचित किया था। इस मामले में मंगलवार को मनपा ने नया हलफनामा दाखिल किया है। हलफनामे के अनुसार जिस स्थान पर स्मारक बनाया गया है वह स्थान -"रिक्रिएशन जोन' में आता है। इसलिए वहां निर्माण की इजाजत है। मनपा ने यह भी बताया कि इसलिए राज्य सरकार ने भी इसकी इजाजत दी थी।
गलती के लिए कोर्ट से बिना शर्त माफी : मनपा अतिरिक्त आयुक्त आंचल गोयल ने हलफनामा दायर किया है। इस हलफनामे में कहा गया है कि, मनपा के सिटी प्लानिंग विभाग के इंजीनियर प्रमोद गावंडे की ओर से मनपा के वकील वरिष्ठ विधिज्ञ एस. के. मिश्रा को जानकारी देने में गलती हुई है। इस गलती के लिए मनपा ने कोर्ट से बिना शर्त माफी मांगी है।
Created On :   8 May 2024 4:34 PM IST