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निकाहनामा: पीड़िता को शादी के लिए मजबूर करने के आरोपी को बॉम्बे हाईकोर्ट से मिली जमानत
- शादी के लिए मजबूर किया था
- आरोपी को बॉम्बे हाईकोर्ट से जमानत मिली
- निकाहनामा बना जमानत आधार
डिजिटल डेस्क, मुंबई। बॉम्बे हाईकोर्ट ने पीड़िता से जबरन शादी और रेप के आरोपी आबिद सलीम खान को जमानत दे दी। अदालत ने आरोपी द्वारा पेश निकाहनामे को सबूत के रूप में स्वीकर कर लिया, जिसमें निकाह के समय पीड़िता की आयु 20 वर्ष थी। जबकि पीड़िता ने दावा कि 17 साल की आयु में आरोपी ने उससे निकाह कर दुरायात किया।
न्यायमूर्ति शिवकुमार डिगे की एकलपीठ के समक्ष वकील सना शेख की ओर से आरोपी आबिद सलीम खान की जमानत याचिका पर सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता की वकील सना खान ने दलील दी कि याचिकाकर्ता ने पीड़िता के माता-पिता की मर्जी से उसे निकाह किया।
उसके परिजनों ने ही निकाह के दौरान पीड़िता की आयु 20 वर्ष बतायी थी। याचिकाकर्ता पर यह आरोप गलत है कि उसने पीड़िता से जबर्दस्ती निकाह और नाबालिग से दुराचार किया। इसके बाद उसे तलाक देकर छोड़ दिया।
गोवंडी पुलिस ने आरोपी के खिलाफ नाबालिग से दुराचार और लैगिक अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम 2012 की विभिन्न धाराओं के अंतर्गत एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई की थी। जबकि उनके बीच निकाह परिवार की सहमति से हुआ था। निकाह होने पर पॉक्सो का मामला नहीं बनता है।
पीठ ने याचिकाकर्ता की दलील को स्वीकार करते हुए आरोपी को जमानत दे दी।
Created On :   15 Jan 2024 11:22 AM GMT