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लापरवाही: किराया न मिलने पर भवन मालिक ने स्कूल को लगा दिया ताला , सड़क पर लगी पाठशाला
- शिक्षा विभाग की लापरवाही का खामियाजा भुगतने की नौबत
- भवन मालिकों ने शिक्षा विभाग को कई बार दिया पत्र
- पत्र को कचरे की टोकरी में डाला
हरीश खुजे , अचलपुर (अमरावती)। चिखलदरा पंचायत समिति अंतर्गत जिला परिषद के काला पांढरी स्थित स्कूल में 2 साल से किराया नहीं देने के कारण भवन मालिक ने शुक्रवार को ताला लगा दिया है। इससे आदिवासी छात्र-छात्राओं को सड़क पर बैठ कर पढ़ाई करनी पड़ रही है। इस स्कूल में कुल 42 छात्र-छात्राएं पढ़ाई करते हैं। शुक्रवार को दोपहर विद्यालय शुरू रहते समय विद्यार्थियों को क्लास से बाहर निकाल कर स्कूल को ताला लगाने के कारण शिक्षकों ने छात्रों को सड़क पर बैठाकर पढ़ाया। शिक्षा विभाग की लापरवाही के चलते मकान मालिक पर यह मजबूरी आने की बात कही जा रही है। 2 वर्ष पूर्व विद्यालय भवन क्षतिग्रस्त होने के कारण विद्यालय को ध्वस्त कर दिया गया था। इसी बीच विद्यालय प्रबंधन समिति द्वारा जोगीलाल भुसुम एवं रावजी भुसुम के मकान को 6 मई 2022 से एक वर्ष के लिए 200 रुपए के दर से पट्टे पर दे दिया गया। समझौता विधिवत स्टाम्प पेपर पर किया गया था। लेकिन विभाग द्वारा इसकी शर्तों का पालन नहीं किया गया। चूंकि दोनों भवन मालिकों को किराया नहीं दिया गया तब उन्होंने पंचायत समिति समूह शिक्षा अधिकारी को एक ज्ञापन भी दिया था, लेकिन उनके इस ज्ञापन को कचरे की टोकरी डाल दिया ।
लगातार दो साल से किराया नहीं मिलने के कारण भवन मालिकों की आर्थिक स्थिति बिगड़ गई। अंत में किराया न मिलने पर भवन मालिकों ने स्कूल पर ताला लगा दिया। शिक्षक भी यह देखकर हैरान हो गए। ऐसे में उन्होंने छात्रों को पढ़ाने के लिए गांव की सड़क चुनी, क्योंकि वह सोच रहा था कि स्कूल कहां स्थापित किया जाए और सड़क पर ही खुली हवा, खुले आकाश और सूरज में स्कूल शुरू किया। मेलघाट में कोई फलक, चाक, शैक्षिक सामग्री और पीने योग्य पानी नहीं हैं। हवा तेज है और धूप भी तेज है, इतना ही नहीं, जंगली जानवरों का भी डर है, ऐसे में सड़क पर कितने दिन स्कूल लगेगा, इसको लेकर छात्रों के साथ-साथ अभिभावक भी चिंतित हैं। साथ ही शिक्षा विभाग की उदासीनता को लेकर हैरत भी जता रहे हैं।
अभी मिली जानकारी : उक्त विद्यालय में एक शिक्षक है। दूसरे शिक्षक का स्थानांतरण हो गया है। विद्यालय भवन ध्वस्त हो जाने के कारण नये भवन का निर्माण कराया जा रहा है। इसलिये भवन किराये पर लिया गया है। मालिक द्वारा ताला लगाने की जानकारी मुझे अभी मिली है। यह क्षेत्र दुर्गम इलाके में होने के कारण यहां पर फोन और मोबाइल भी नहीं लगता है। - रामेश्वर मालवे, समूह शिक्षा अधिकारी, पं.स. चिखलदरा
पूरा नहीं हुआ निर्माण कार्य : 6 मई 2022 को स्कूल की इमारत ढह गई। सौभाग्य से कोई जनहानि नहीं हुई। इस बीच, स्कूल का निर्माण युद्ध स्तर पर किया जाना था, लेकिन कछुवा गति से जारी काम के कारण स्कूल का काम अभी तक पूरा नहीं हुआ है।
Created On :   24 Feb 2024 12:32 PM GMT