नया वेरिएंट पुराने पर है भारी! जानिए क्या कहती है अमेरिका और सिंगापुर की रिपोर्ट्स
- ओमिक्रॉन में बहुत गंभीरता नजर नहीं आती है- अमेरिका
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। कोरोना के नए वेरिएंट को लेकर अलग-अलग बातें की जा रही है। बहुत से लोगों के मन में सवाल है कि, क्या ओमिक्रॉन कोरोना के पुराने वेरिएंट डेल्टा से ज्यादा खतरनाक है? इस सवाल को लेकर अमेरिका और सिंगापुर दोनों देशो की अलग-अलग राय है।
अब तक इस बात की आशंका जताई जा रही थी कि, ओमिक्रॉन डेल्टा से ज्यादा खतरनाक है। लेकिन,अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के मुख्य चिकित्सा सलाहकार डॉ. एंथोनी फौसी की मानें तो, ओमिक्रॉन में बहुत गंभीरता नजर नहीं आती है।
क्या कहा डॉ. एंथोनी फौसी ने
डॉ एंथोनी फौसी के अनुसार, "अब तक ऐसा नहीं लग रहा कि, इसमें बहुत ज्यादा गंभीरता है। लेकिन, असलियत में हमें ये तय करने से पहले पूरी तरह सावाधान रहने की जरुरत है कि, ये कम गंभीर है या डेल्टा वेरिएंट की तुलना में किसी गंभीर बीमारी का कारण नहीं बन सकता है। बाइडेन सरकार यात्रा प्रतिबंधों में ढील देने को लेकर विचार कर रही है। सरकार ने ओमिक्रॉन के खतरे को देखकर पहले इस प्रतिबंध को लागू किया था।"
क्या कहता है सिंगापुर?
सिंगापुर के स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से ओमिक्रॉन को लेकर कहा गया कि,"विश्व स्तर पर शुरुआती क्लीनिकल निरीक्षण बताते हैं कि ये नया वेरिएंट कोरोना के दोनों पुराने वेरिएंट ‘डेल्टा’ और ‘बीटा’ की तुलना में ज्यादा संक्रामक है। जिसकी वजह से दोबारा खतरा बढ़ सकता है। ‘चैनल न्यूज एशिया’ ने मंत्रालय के हवाले से बताया कि, "इसका साफ मतलब ये है कि, कोविड-19 से जो लोग पहले संक्रमित हो गए है उन्हें भी दोबारा संक्रमित होने का खतरा ज्यादा है। हालांकि वैक्सीन इस पर प्रभावी है या नहीं इसे लेकर अभी अध्ययन किया जा रहा है। कुछ वैज्ञानिकों का मानना है कि, टीका इसके खिलाफ काम करेगा और इस बीमारी से उभरने में मददगार भी साबित हो सकता है।"
Created On :   6 Dec 2021 10:07 AM IST