भारत के तटस्थ रूख और शांति वार्ता की कई देश कर रहे है प्रशंसा, द्वितीय वर्ल्ड वार की बमबारी से बचने वाले बोरिस रोमनचेंको की रूसी बमबारी में हुई मौत

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हाईलाइट
  • हर बार भारत ने किया शांति वार्ता का आह्वान

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली।   द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान की बमबारी और होलोकास्ट से बच जाने वाले बोरिस रोमनचेंको की रूसी बमबारी की चपेट में आने से हुई मौत। बुचेनवाल्ड स्मारक ने सोमवार को इसकी जानकारी दी।  96 वर्षीय बोरिस रोमनचेंको द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान नाजियों के बुचेनवाल्ड एकाग्रता शिविर से बचने वाले लोगों में से थे।  रूसी बमबारी से   यूक्रेन के खार्किव शहर में  उनके एक साधारण फ्लैट में ब्लास्ट होने से हुई । 

यूक्रेन संकट को लेकर संयुक्त राष्ट्र महासभा का आपातकालीन विशेष सत्र बुधवार को फिर से शुरू होगा। इस सत्र में फ्रांस, ब्रिटेन और अमेरिका सहित 22 सदस्य देशों ने बैठक बुलाने के लिए संयुक्त राष्ट्र के 193 सदस्यीय निकाय के अध्यक्ष अब्दुल्ला शाहिद को पत्र लिखा था।

रूस और यूक्रेन के बीच लगातार 27वें दिन भी जंग जारी है। यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की  नाटो के रवैये से भी नाराज नजर आ रहे हैं।यूक्रेनी राष्ट्रपति का कहना है कि नाटो को अब स्पष्ट कर देना चाहिए कि वो यूक्रेन के साथ है या नहीं।  जेलेंस्की ने नाटो पर आरोप लगाते हुए कहा कि नाटो रूस से डरता हैं।  

27 दिन से जारी रूसी हमलों से यूक्रेन में तबाही का मंजर मचा हुआ है। इस हमले में अब तक 651 आवासीय भवन और 3780 घर नष्ट हो गए हैं।

रूस यूक्रेन वार को लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने भारत के रूख  पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। यूएस राष्ट्रपति ने रूस यूक्रेन जंग में भारत के फैसले को अस्थिर बताया है। इससे एक दिन पहले ही भारत के कट्टर प्रतिद्वंदी पाकिस्तान ने भारत की प्रशंसा की, उसके एक दिन बाद अमेरिकी राष्ट्रपति की ये बयान भारत के प्रति बाइडन की नाराजगी को व्यक्त करता है। एक तरफ  भारत की विदेश नीति  की पाक की पीएम इमरान के साथ कई अन्य देशों के नेता तारीफ कर चुके है। आपको बता दें भारत ने रूस यूक्रेन जंग को लेकर दोनों देशों के प्रति तटस्थ रूप अपनाया हुआ है। 

वाशिंगटन में  क्वाड साझेदार देशों का जिक्र करते हुए अमेरिकी बिजनेस लीडर्स के संबोधन में जो बाइडन ने कहा पुतिन की आक्रामकता से निपटने में भारत अपवाद स्वरूप कुछ कमजोर रहा, लेकिन जापान बेहद सख्त रहा है, इसी तरह ऑस्ट्रेलिया भी कठोर है।  जो बाइडन  ने आगे कहा कि भारत ने जंग के समाधान के लिए हर बार शांति वार्ता का आह्वान किया। 



 

Created On :   22 March 2022 9:32 AM IST

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