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धोखाधड़ी: बोगस दस्तावेज से प्लाटों की बिक्री , एनआईटी से दस्तावेज चुराने वाले गिरोह का पर्दाफाश
- एनआईटी से कागजात चोरी कर बोगस दस्तावेज बनाए
- गिरोह के 11 लोगों को पुलिस ने किया गिरफ्तार
- अधिकारियों को नोटिस
डिजिटल डेस्क, नागपुर। एनआईटी (नागपुर सुधार प्रन्यास) के दस्तावेजों की चोरी कर उसके आधार पर नकली दस्तावेज बनाकर प्लाटों की बिक्री करने वाले एक गिरोह का पुलिस ने पर्दाफाश किया है। सदर थाने के उपनिरीक्षक संतोष शिरडोले के अनुसार इस मामले में अब तक 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जिसमें 7 आरोपी न्यायिक हिरासत के तहत जेल भेज दिए गए हैं। 4 अभी भी पुलिस रिमांड पर हैं। जो आरोपी रिमांड पर हैं, उनके नाम मोहम्मद रियाज उर्फ बब्लू अब्दुल रउफ (54) हंसापुरी, नासिर हसन खान (45), स्वागत नगर, काटोल रोड, इमरान अली अख्तर अली (43) आयशा मस्जिद, राजचौक और रुूपेश अरुण वारजुरकर (34), महात्मा फुले नगर, रामेश्वरी निवासी हैं। 1 फरवरी को इन चारों आरोपियों की पुलिस रिमांड समाप्त होने पर उन्हें दोबारा न्यायालय में पेश किया जाएगा। चर्चा ऐसी भी हो रही है कि शहर में कई ऐसे ले आउट हैं, जिनके प्लाट धारकों के पास बकायदा रजिस्ट्री है, लेकिन एनआईटी कार्यालय से उनके ले-आउट के दस्तावेज गायब हैं। कुछ पुराने खसरा नंबर की जगह पर नए खसरा नंबर डालकर पूरी जमीन विवादों के घेरे में खड़ा किए जाने की चर्चा है।
इन आरोपियों की जेल रवानगी : प्रकरण की जांच कर रहे शिरडोले ने बताया कि जिन आरोपियों को जेल भेजा गया है, उनके नाम प्रवीण मोरेश्वर सहारे (46) गोधनी, पवन कुमार जंगेला (34) अभिनव अपार्टमेंट, मनीष नगर, कौशल हिवंज (22), परसोड़ी, वर्धा रोड, अथर्व कृष्ण भाग्यवंत (22), गोपाल नगर, प्रतिभा मेश्राम (46) अभ्यंकर चौक, कार्तिक उर्फ रजत शिवराम लोनारे (3०) लालगंज, मेहंदीबाग रोड, सिद्दार्थ वासुदेव चव्हाण (4०), स्नेहदीप कॉलोनी जरीपटका निवासी है। पुलिस प्रतिभा मेश्राम को उमरेड से गिरफ्तार कर लाई थी। इस प्रकरण में आरोपियों की संख्या बढ़ सकती है। गिरफ्तार आरोपियों में कांट्रेक्टर विभाग और सब-रजिस्ट्रार विभाग में काम करने वाला कर्मचारी भी शामिल है। इन पर आरोप है कि ये सभी दस्तावेजों को चोरी करते थे और उन्हें पुराना दिखने के लिए चाय के पानी में डूबा देते थे। इस प्रकरण में एनआईटी के कई अधिकारियों के भी शामिल होने की आशंका है। उक्त दोनों विभागों के कई अधिकरियों को नोटिस जारी किए जाने की खबर है।
क्या है मामला : गत नवंबर में सदर थाने में निशा राजकुमार जाजू ने ठगी की शिकायत की थी। उन्होंने पुलिस को बताया था कि नारी परिसर में उनके 3 हजार वर्ग फीट के दो प्लॉट को जाली दस्तावेज के आधार पर आरोपियों ने बेच दिए थे। इस मामले की जांच के दौरान पुलिस ने इस पूरे गिरोह का पर्दाफाश किया और 16 से अधिक आरोपियों पर मामला दर्ज किया गया है। अभी तक 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जिसमें 4 आरोपी सदर पुलिस की रिमांड पर हैं। पांच से अधिक आरोपी अभी भी फरार बताए जा रहे हैं, जिनकी तलाश जारी है। पुलिस की जांच में अब तक पता चला है कि पिछले कई वर्षों से इस पूरे गिरोह को चलाया जा रहा था। इस गिरोह पर पुलिस मकोका भी लगा सकती है। गिरफ्तार रजत लोणारे और रुपेश वारजुरकर नागपुर सुधार प्रन्यास के कांट्रेक्टर विभाग और सब-रजिस्ट्रार विभाग में कार्यरत हैं। दोनों आरोपी भूमि से जुड़ी फाइलों की चोरी करते और अन्य आरोपियों को दिया करते थे, जहां नकली दस्तावेज बनाकर भूमि को अन्य लोगों को बेचते थे।
ये माल जब्त : पुलिस ने विविध असली बिक्रीपत्र, फर्जी आधार कार्ड, फर्जी पैन कार्ड, विविध फर्जी विक्रीपत्र, विविध विक्रीपत्र के कोरे नमूने, एनआईटी में विविध जमीनों की फाइलें, विविध असली दस्तावेज, सह दुय्यम निबंधक के कार्यालय से प्राप्त किए गए विक्रीपत्र की जेराॅक्स कॉपी, विविध एनए आॅर्डर की कुछ असली, कुछ नकली कॉपी जब्त किए हैं। 500 रुपए के नकली नोट, 3 कार (आॅडी, स्विफ्ट डिजायर, फोर्ड), दो दोपहिया वाहन, रबर स्टैम्प विक्रीपत्र पर लगाने वाले स्टैम्प, एनआईटी में जमा किए गए असली नक्शे, भूमि अभिलेख कार्यालय के विविध नक्शे, फर्जी स्टैम्प टिकट, नागपुर शहर व अास-पास की तहसीलों की जमीनों के दस्तावेज की जेराॅक्स, विविध बैंकों के फर्जी खाते की चेक बुक, विविध बैंकों में तैयार की गई फर्जी खाते की पासबुक, बैंकों के आरटीजीएस के कोरे फाॅर्म, विविध लोगों के पासपोर्ट फोटो, कुछ लोगों के व्यवसाय का गुमाश्ता व अन्य दस्तावेज भी जब्त किया गया है।
Created On :   1 Feb 2024 12:39 PM IST