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टेक्नोलॉजी: अब ट्रेनों की ओएचई पर रहेगी सोलर कैमरे की नजर, नागपुर सहित देश के 17 स्टेशनों पर लगाए गए हाईटेक कैमरे
- अब ट्रेनों की गतिविधियों पर भी सोलर कैमरे से नजर रखी जाएगी
- घोड़ाडोंगरी, बैतूल, आमला, परासिया, मुलताई, पांढुर्ना, काटोल, नागपुर, अजनी, खापरी, बूटीबोरी, सेवाग्राम, वर्धा, धामनगांव, वरोरा, चंद्रपुर और बल्लारशाह शामिल
डिजिटल डेस्क, नागपुर. जिस तरह संतरा नगरी के रेलवे स्टेशन पर 3 सौ अत्याधुनिक कैमरों की मदद से अपराधिक गतिविधियों पर नजर रखी जाती है। ठीक उसी तरह अब ट्रेनों की गतिविधियों पर भी सोलर कैमरे से नजर रखी जाएगी। जिसमें ट्रेन के पेंटों और ओएचई की निगरानी होती रहेगी। पेंटों या ओएचई में जरा सी खराबी मिलने पर तुरंत दुरुस्त की जाएगी। जिससे ट्रेनों का तकनीकि कारणों से लेट होना, ओएचई टूटने जैसी घटनाओं पर अंकुश लगाना संभव हो सकेगा।
रेलवे सुरक्षा और परिचालन दक्षता में सुधार की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, नागपुर मंडल के ट्रैक्शन डिस्ट्रीब्यूशन (टीआरडी) विभाग ने 17 प्रमुख स्टेशनों पर फुट ओवर ब्रिज (एफओबी) पर ऑनलाइन सोलर कैमरे सफलतापूर्वक लगाए हैं। इन स्टेशनों में घोड़ाडोंगरी, बैतूल, आमला, परासिया, मुलताई, पांढुर्ना, काटोल, नागपुर, अजनी, खापरी, बूटीबोरी, सेवाग्राम, वर्धा, धामनगांव, वरोरा, चंद्रपुर और बल्लारशाह शामिल हैं। रणनीतिक रूप से लगाए गए इन कैमरों को अप और डाउन दोनों दिशाओं में चलती ट्रेनों पर पेंटोग्राफ की स्थिति की निगरानी के लिए डिज़ाइन किया गया है। यह अभिनव तकनीक ट्रैक्शन पावर कंट्रोल रूम में ट्रेन की गतिविधियों और पेंटोग्राफ की स्थिति को दूर से देखने की अनुमति देती है।
वास्तविक समय की निगरानी प्रदान कर, सिस्टम चलती ट्रेनों के पेंटोग्राफ में किसी भी असमान्यता का जल्द पता लगाने में सक्षम बनाता है। असामान्य घटनाओं या पेंटोग्राफ उलझाव के मामलों में त्वरित जांच और समाधान के लिए यह क्षमता महत्वपूर्ण है।
इसके अतिरिक्त, पेंटोग्राफ की स्थिति ओवरहेड उपकरण (ओएचई) के विशिष्ट खंड की पहचान करने में मदद करती है, जहां कोई नुकसान हो सकता है। इन ऑनलाइन सौर कैमरों के कार्यान्वयन से संभावित मुद्दों पर त्वरित और अधिक सटीक प्रतिक्रिया सक्षम कर ट्रेन यातायात अवरोधों को काफी कम करता है। यह प्रगति ट्रेन संचालन में सुरक्षा, दक्षता और विश्वसनीयता बढ़ाने के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठाने के लिए मध्य रेल की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है।
टीआरडी टीम से होगी निगरानी
जिस तरह स्टेशन पर लगे कैमरों की निगरानी आरपीएफ की कंट्रोल रुम से होती है, ठीक इसी तरह उपरोक्त सोलर कैमरों की निगरानी टीआरडी की कंट्रोल से की जानेवाली है। पेंटो व ओएचई में जरा भी खराबी मिलते ही तुरंत एक्शन लिया जाएगा। तूफान, बारिश के दिनों ज्यादात्तर बार पेंटो टुट जाता है, वही ओएचई भी टूटती है। ऐसे में इस व्यवस्था से बचा जा सकता है।
Created On :   26 July 2024 8:28 PM IST