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बिल पर सियासत: नाना पटोले ने बताया चुनावी जुमला, एकनाथ शिंदे बोले महिला आरक्षण बिल मां साहेब मीनाताई ठाकरे को समर्पित
डिजिटल डेस्क, मुंबई. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने महिला आरक्षण बिल (नारी शक्ति वंदन अधिनियम) पर अपना समर्थन जताते हुए इसे मां साहेब मीनाताई ठाकरे को समर्पित किया है। शिवसेना (शिंदे) सांसद राहुल शेवाले ने बुधवार को लोकसभा में कहा कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के निर्देशानुसार उनकी पार्टी ने इस विधेयक को अपना समर्थन देने की घोषणा की है। इस विधेयक से लोकसभा और राज्य की विधानसभाओं में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण मिल सकेगा। महिला आरक्षण विधेयक देश में लोकतंत्र को और मजबूत करेगा। हालांकि विपक्ष ने इस महिला आरक्षण बिल को सिर्फ चुनावी जुमला करार दिया है।
शिंदे ने बुधवार को कहा कि पिछली सरकारों ने हमेशा महिलाओं के अधिकारों के खिलाफ रुख अपनाया, जिसके चलते उनके राजनीतिक अधिकार उन्हें नहीं मिले। पर अब यह सब बदलने वाला है क्योंकि हम अब अमृतकाल में हैं। इस स्वर्ण युग में महिलाएं देश के भविष्य को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगी। राज्य की विधानसभाओं, विधान परिषदों और संसद में महिलाओं की भागीदारी काफी बढ़ जाएगी। शिंदे ने कहा कि वे राजमाता जीजाबाई भोसले, रानी ताराबाई, अहिल्याबाई होल्कर और रानी लक्ष्मीबाई जैसी असाधारण महिलाओं को सम्मान और श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। इस नारी शक्ति वंदन विधेयक को हम मांसाहेब मीनाताई ठाकरे को समर्पित करते हैं।
नाना पटोले, प्रदेशाध्यक्ष, कांग्रेस के मुताबिक महिला आरक्षण विधेयक सिर्फ चुनाव को देखते हुए एक चुनावी जुमले के तौर पर पेश किया गया है। देश मे सिर्फ इवेंट मैनेजमेंट का काम चल रहा है। यह बिल संसद में पास भी हो गया तो इसके धरातल पर उतरने की संभावनाएं कम दिखाई दे रही हैं।
देवेंद्र फडणवीस, उपमुख्यमंत्री के मुताबिक बहुत सालों से इस विधेयक का इंतजार किया जा रहा था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में महिलाओं को आगे लाने की पहल हुई है। इस विधेयक से महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में भी महिलाओं का प्रतिनिधित्व ज्यादा देखने को मिलेगा। मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद देना चाहता हूं। इससे महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा मिलेगा।
अमृता फडणवीस के मुताबिक महिला आरक्षण विधेयक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इच्छाशक्ति के चलते आ पाया है। इस बिल के आने से महिलाओं को प्रतिनिधित्व करने का मौका भी मिलेगा और वे राजनीति में आगे बढ़ सकेंगी।
जयंत पाटील, प्रदेशाध्यक्ष, राकांपा (शरद गुट) के मुताबिक महिलाओं के सशक्तिकरण को लेकर पहली संकल्पना राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने की थी। शरद पवार ने इस विधेयक को लेकर संसद में सबसे पहले बात की थी।
Created On :   20 Sept 2023 8:48 PM IST