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गोंदिया: बार संचालकों की हड़ताल से जिले के 300 बियर बार रहे बंद
- शराब बिक्री पर वैट 5 प्रतिशत से बढ़ाकर 10 % करने का किया विरोध
- जिले के 300 बियर बार रहे बंद
- मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी कोे सौंपा
डिजिटल डेस्क, गोंदिया. शासन ने बार के परमिट रूम में शराब बिक्री पर 5 प्रतिशत से बढ़ाकर 10 प्रतिशत वैट लागू किया है। जिस कारण शराब बिक्री पर असर दिखाई देने लगा है। बढ़ाया गया वैट तत्काल रद्द करने की मांग को लेकर गोंदिया जिले के बार संचालकों ने बार बंद कर एक दिवसीय हड़ताल किया। बताया गया है कि इस हड़ताल से जिले के 300 बार तथा 11 वाइन शॉप बंद रहे। बार असोसिएशन ने मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी सौंपा।
इस संबंध में गोंदिया जिला बार असोसिएशन द्वारा जानकारी दी गई कि शासन ने परमिट रूम में शराब बिक्री पर 5 प्रतिशत वैट लगाया था। लेकिन 1 नवंबर से शासन ने 5 प्रतिशत से बढ़ाकर 10 प्रतिशत वैट परमिट रूम में परोसी जाने वाली शराब बिक्री पर लगा दिया है। जिस कारण बार संचालकों में शासन के खिलाफ तीव्र रोष है। बार संचालकों का कहना है कि 10 प्रतिशत वैट लगाए जाने से शराब बिक्री पर विपरीत परिणाम दिखना शुरू हो चुका है। ग्राहक बार में आने से कतरा रहे हैं। जिस कारण शराब बिक्री में कमी आ सकती है।
भारी नुकसान बार संचालकों को सहन करना पड़ेगा। बढ़ाया गया वैट तत्काल रद्द किया जाए इस मांग को लेकर जिला बार असोसिएशन ने निर्णय के तहत जिले के 300 बार व 11 वाइन शॉप संचालकों ने एक दिवसीय गुरुवार 16 नवंबर को बार व वाइन शॉप को ताला लगाकर हड़ताल को समर्थन दिया है। बार असोसिएशन ने मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी सौंपा।
ढाबों में बढ़ रही रौनक, बार में ग्राहकों की कमी
जानकारी में यह भी बताया जा रहा है कि बार एंड रेस्टारेंट में पहले शराब के शौकीन बड़े पैमाने पर शराब पीने के लिए पहुंचते थे। लेकिन शराब महंगी होने के कारण ग्राहक अब बार एंड रेस्टारंेट में आने के लिए कतरा रहे है। इसका फायदा जिले के कुछ ढाबा संचालक उठा रहे है। ग्राहक वाईन शॉप से शराब खरीदकर ग्राहक सीधे ढाबो में पहुंच रहे है। कुछ ढाबा संचालक भी अवैध रूप से ग्राहको को शराब पीने के लिए अनुमति दे रहे है। जिससे ढाबा संचालको की कमाई भी अधिक हो रही है लेकिन इसका विपरीत परिणाम बार एंड रेस्टाॅरेंट में दिखाई दे रहा है क्योंकि बार में शराब महंगी होने के कारण ग्राहक बार में शराब पीने के बजाए ढाबे में पीना अधिक पसंद कर रहे हैं। यही एक कारण है कि बार एंड रेस्टाॅरेंट में ग्राहकों की कमी दिखाई दे रही है तो कुछ ढाबों में ग्राहकों की भीड़ बढ़ रही है।
वैट कम किया जाए
अशोक पाठक, बार संचालक के मुताबिक पहले बार के परमिट रूम में शराब बिक्री पर 5 प्रतिशत वैट लिया जाता था, लेकिन 1 नवंबर से शासन ने शराब बिक्री पर 10 प्रतिशत वैट लेना शुरू कर दिया है जिस कारण शराब बिक्री का व्यवसाय ठप होने की कगार पर है। हमारी मांग है कि बढ़ाया गया वैट रद्द कर 5 प्रतिशत ही वैट लिया जाए। इस मांग को लेकर जिले के बार संचालकों ने एक दिवसीय हड़ताल कर बार को बंद रखा है। वहीं वाइन शॉप संचालकों ने भी इस हड़ताल को समर्थन दिया।
Created On :   17 Nov 2023 6:03 PM IST