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मध्य प्रदेश: सेमरहा में उल्टी-दस्त, 1 आदिवासी बच्ची की मौत, 10 भर्ती, तांत्रिक ने अस्पताल जाने से रोका तो पुलिस को बुलाना पड़ा
- तांत्रिक ने अस्पताल जाने से रोका तो पुलिस को बुलाना पड़ा
- मरहा में उल्टी-दस्त, 1 आदिवासी बच्ची की मौत, 10 भर्ती
- एडमिट होने को तैयार नहीं थे बीमार
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के सतना में मझगवां ब्लॉक मुख्यालय से महज 20 किलोमीटर की दूरी पर स्थित ग्राम पंचायत पडऱी के आदिवासी बाहुल्य गांव सेमरहा में दो दिनों से लोग उल्टी-दस्त से पीडि़त हैं मगर ये सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में भर्ती तब हुए जब बरौंधा पुलिस सख्ती से पेश आई। दरअसल, रविवार को उल्टी-दस्त की शिकायत होने पर सेमरहा के चाची-भतीजा को बाइक पर लादकर मझगवां सीएचसी में भर्ती कराया गया। दोनों से पता चला कि सेमरहा में उल्टी-दस्त का प्रकोप है मगर गांव में तथाकथित तांत्रिक रामकृष्ण मवासी के मना करने की वजह से बीमार लोग अस्पताल नहीं जा रहे हैं। यह सुनते ही बीएमओ डॉ. रूपेश सोनी अपनी मेडिकल टीम के साथ गांव पहुंच गए।
एडमिट होने को तैयार नहीं थे बीमार
डॉ. सोनी की टीम ने 20 घरों के इस गांव में डोर-टू-डोर सर्वे शुरू किया। पता चला कि शनिवार-शुक्रवार की दरमियानी रात करीब 1 बजे 5 वर्षीया रामकन्या पुत्री रामकुमार मवासी की डायरिया की वजह से मौत हो चुकी है जबकि इसी वजह से 10 लोग और पीडि़त हैं जिसमें से 3 मरीजों की हालत बेहद नाजुक है। बीएमओ ने जब पीडि़तों को भर्ती होने के लिए कहा तो सभी ने तांत्रिक का हवाला देते हुए मना कर दिया। ग्रामीणों ने बताया कि तांत्रिक ने भय दिखाया कि अगर गांव के बाहर गए तो मौत निश्चित है। बीएमओ ने इसकी जानकारी बरौंधा थाना को दी तो वहां से 4 पुलिसकर्मी सेमरहा पहुंचे और उनकी सख्ती के बाद सभी बीमारों को सीएचसी में भर्ती कराया गया।
इन बीमारों को पहुंचाया सीएचसी
डॉ. सोनी के मुताबिक उल्टी-दस्त से पीडि़त आशा मवासी (32), बेलकली (23), सियाकली (ढाई वर्ष), सम्पतिया मवासी (65), राममिलन मवासी (66), जयलाल मवासी (45), कृष्णा मवासी (24) एवं नथुनिया मवासी (58) को एम्बुलेंस के जरिए नजदीकी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में भर्ती कराया गया है। इससे पहले दो लोग पूर्व से भर्ती हैं। जानकारों की माने तो 3 लोगों की हालत नाजुक बनी हुई है और जिला अस्पताल रेफर होने के लिए तैयार नहीं हैं।
इनका कहना है
सेमरहा में लोग दो दिनों से उल्टी-दस्त से पीडि़त थे मगर कथित तांत्रिक के बहकावे में आकर कोई भी मरीज गांव से बाहर जाने को तैयार नहीं था अंतत: पुलिस को बुलाना पड़ा और मरीजों को सीएचसी में भर्ती कराया गया।
डॉ. एलके तिवारी
सीएमएचओ
Created On :   16 Sept 2024 10:49 PM IST