विदेश मंत्री जयशंकर प्रसाद के बयान के बाद भारत का फैन कैसे बन गया चीन? इस अंदाज में की भारत की तारीफ कहा अमेरिका भी छूट जाएगा पीछे
- चीनी पत्रकार हुआ गदगद
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। चीन हमेशा से भारत के खिलाफ रणनीति बनाता रहा है। लेकिन भारत की बढ़ती ताकत देख चीन भी तारीफ करने से अपने आप को नहीं रोक पाया। ड्रैगन की ओर से एक बयान सामने आया है। जिसमें भारत को स्वतंत्र और कूटनीति वाला देश बताया गया है। चीन की ओर से यह भी कहा गया कि भारत एक नई उभरती हुई ताकत है और इसके साथ आने वाले कुछ सालों में कई पश्चिमी देशों को पीछे छोड़ कर आगे निकल जाएगा। बताया जा रहा है कि यह बयान चाइना की ओर से तब आया जब भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने रूस दौरे पर एक बयान दिया था। उन्होंने मॉस्को में कहा था कि रूस से तेल भारत खरीदते रहेगा क्योंकि इसमें भारत का फायदा है और इसे खरीदना भारत जारी रखेगा। हालांकि, यह बयान जयशंकर की ओर से तब दिया गया जब उनकी मुलाकात रूसी विदेश मंत्री सर्गेई के साथ हुई।
विदेश मंत्री के इस बयान को अमेरिका और अन्य पश्चिम देशों से जोड़कर देखा जा रहा है। क्योंकि यूक्रेन और रूस की बीच 9 माह से युद्ध जारी हैं। रूस युद्ध में पीछे नहीं हटना चाह रहा है और यूक्रेन को हराने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है। जिसके कारण से कई पश्चिमी देशों ने रूस पर प्रतिबंध लगाए हुए हैं। इसी सिलसिले में कई पश्चिम देश भारत को रूस से तेल ना खरीदने के लिए दबाव बना रहे हैं। हालांकि, विदेश मंत्री जयशंकर के बयान के बाद भारत ने लगभग अपना स्टैंड क्लेयर कर दिया है।
चीनी पत्रकार हुआ गदगद
विदेश मंत्री एस जयशंकर के दिए गए बयान पर चीन के सरकारी ग्लोबल टाइम्स के जाने-माने पत्रकार हू शिजिन ने अपने ट्वीट में लिखा कि भारत एक स्वतंत्र एवं कूटनीति वाला देश है। जो विश्वभर में अपना प्रभाव बढ़ाता जा रहा है। पत्रकार शिजिन अपने ट्वीट में आगे लिखते हैं वह दिन दूर नहीं जब भारत का व्यापार अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बढ़ जाएगा और अमेरिका समेत कई पश्चिम देशों को पीछे छोड़कर भारत आगे निकल जाएगा।
— Hu Xijin 胡锡进 (@HuXijin_GT) November 8, 2022
जारी रहेगा रूस से तेल खरीदना
दरअसल, रूस और यूक्रेन के बीच इस साल के फरवरी महीने से ही युद्ध जारी है। जिसको लेकर कई देशों ने रूस पर कड़े प्रतिबंध लगाए हुए हैं। लेकिन भारत हमेशा से रूस का अच्छा दोस्त रहा है। भारत की ओर से तटस्थ नीति को अपनाते हुए रूस से तेल खरीदना जारी रखा है।
भारत और रूस के बीच के संबंधों के बारे में कई बार विदेश मंत्री एस जयशंकर को वैश्विक मंच पर जवाब देते हुए सुना जा चुका है। अमेरिका और चीन दोनों देश विश्व की सबसे शक्तिशाली देश है, ये दोनों देशों एक दूसरे के खिलाफ हमेशा बयानबाजी करते रहते हैं। ऐसा हो सकता है कि अमेरिका से तनावपूर्ण संबंध रखने वाला चीन भारत की कूटनीतिक जीत बताकर उसे जलाना चाहता हो।
Created On :   9 Nov 2022 7:15 PM IST