नई सरकार के गठन को लेकर नेपाल में बातचीत का आखिरी चरण

The last phase of talks in Nepal regarding the formation of a new government
नई सरकार के गठन को लेकर नेपाल में बातचीत का आखिरी चरण
नेपाल नई सरकार के गठन को लेकर नेपाल में बातचीत का आखिरी चरण
हाईलाइट
  • चुनावों में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला

डिजिटल डेस्क, काठमांडू। नई सरकार के गठन को लेकर काठमांडू में बातचीत का आखिरी चरण रविवार को शुरू हो गया। दरअसल, राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी द्वारा प्रधानमंत्री का नाम सौंपने की समय सीमा नजदीक आ रही है। पार्टियों के बीच कई दौर की बातचीत के बाद भी कोई ठोस नतीजा नहीं निकलने के बाद सत्तारूढ़ गठबंधन नेपाली कांग्रेस (एनसी) और माओवादी केंद्र के शीर्ष नेता सुबह से ही आंतरिक चर्चा में लगे हुए हैं।

चूंकि 20 नवंबर को हुए चुनावों में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला है, इसलिए वर्तमान प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा और सीपीएन (माओवादी केंद्र) के अध्यक्ष पुष्पा कमल दहल प्रचंड ने प्रधानमंत्री पद का दावा किया है। माओवादी अध्यक्ष प्रचंड ने पहले चरण में नेतृत्व करने के लिए प्रधानमंत्री पद नहीं मिलने पर गठबंधन छोड़ने की धमकी दी है। देउबा और प्रचंड दो-दो साल के लिए प्रीमियरशिप को विभाजित करने और सीपीएन (एकीकृत समाजवादी) माधव कुमार नेपाल के अध्यक्ष को एक वर्ष देने पर सहमत हुए।

नेपाल के प्रतिनिधि सभा में सबसे बड़ी पार्टी नेपाली कांग्रेस के महासचिव बिशव प्रकाश शर्मा ने कहा, वर्तमान गठबंधन को बनाए रखने के लिए सत्तारूढ़ गठबंधन के बीच 2-2-1 साल तक प्रीमियर को विभाजित करना सबसे अच्छा विकल्प है। नेपाली कांग्रेस और देउबा को डर है कि अगर माओवादी सत्तारूढ़ गठबंधन से बाहर निकलेंगे, तो वे सीपीएन-यूएमएल के साथ हाथ मिला सकते हैं, जो एक अन्य कम्युनिस्ट पार्टी है और नेपाली कांग्रेस के बाद सदन में दूसरी सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी है।

यूएमएल और माओवादी केंद्र सहित कम्युनिस्ट पार्टियों का गठबंधन बीजिंग की पहली पसंद है। बर्शमान पुन सहित कुछ माओवादी नेताओं ने चेतावनी दी है कि अगर नेपाली कांग्रेस ने पहले चरण में प्रचंड को सरकार का नेतृत्व नहीं करने दिया, तो वे गठबंधन से बाहर हो जाएंगे और यूएमएल से हाथ मिला लेंगे, जो गठबंधन के फैसले की प्रतीक्षा कर रहा है। यूएमएल ने कहा कि अगर गठबंधन टूटेगा और गठबंधन से माओवादी निकलेंगे, तो हम सरकार बनाने की प्रक्रिया में कदम रखेंगे। देउबा के साथ किसी समझौते पर नहीं पहुंचने के बाद प्रचंड रविवार शाम को ओली से मिलने गए।

(आईएएनएस)

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Created On :   25 Dec 2022 3:30 PM IST

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