डोनाल्ड ट्रंप हश मनी मामला: ट्रंप की गिरफ्तारी को लेकर अमेरिका में हलचल, सुप्रीम कोर्ट ने किया सजा टालने से मना, जानें शपथ ले पाएंगे ट्रंप या नहीं?
- सुप्रीम कोर्ट ने सजा टालने की अपील को किया खारिज
- जज मर्चेन के फैसले पर औरों की प्रक्रिया
- सुप्रीम कोर्ट का फैसला
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। डोनाल्ड ट्रंप के हश मनी मामले में सुप्रीम कोर्ट की तरफ से सजा टालने वाली अपील को खारिज कर दिया है। जिसने ट्रंप की कानूनी परेशानियों को और ज्यादा बढ़ा दिया है। ट्रंप पर पोर्न स्टार स्टॉर्मी डेनियल्स को 1.3 लाख डॉलर देने का आरोप लगाया गया है। जिस मामले में, सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने ट्रंप की अपील को खारिज कर दिया है। साथ ही, जज जुआन एम मर्चेन को शुक्रवार को सजा देने की भी अनुमति दे दी गई है।
हश मनी का आरोप
हश मनी केस में डोनाल्ड ट्रंप पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने साल 2006 में स्टॉर्मी डेनियल्स के साथ संबंध को छुपाने के लिए उन्हें हश मनी देने की कोशिश की थी। ट्रंप ने इन आरोपों से इनकार कर दिया है। लेकिन, न्यू यॉर्क की अदालतों को ट्रंप के खिलाफ बिजनेस रिकॉर्ड में हेरफेर मिला है। साथ ही, 34 हेरफेर के मामलों में वह दोषी हैं, जो उनके निजी मामलों से जुड़े हैं न कि राष्ट्रपति के आधिकारिक कामों से।
जज मार्चेन का फैसला
मनी हश मामले की सुनवाई कर रहे जज जुआन एम मर्चेन ने पहले ही बता दिया था कि ट्रंप को सजा सुनाई जाएगी। लेकिन वो इसका भुगतान नहीं करेंगे और ना ही उन पर जुर्माना लगाया जाएगा। वहीं, ट्रंप के वकीलों ने सजा को राजनीति से मिलता-जुलता बताते हुए गलत करार दे दिया है। उन्होंने कहा है कि, इस मामले की वजह से ट्रंप के राष्ट्रपति बनने की प्रक्रिया में भी अड़चन डाली जा सकती है। ट्रंप के वकील डी जॉन सॉयर ने कोर्ट में तर्क दिया है कि, ट्रंप की अपील पर सुनवाई होने तक सजा को टाल देना चाहिए। जिससे राष्ट्रपति बनने की प्रक्रिया में किसी तरह की परेशानी ना हो।
सुप्रीम कोर्ट ने किया अपील को खारिज
सुप्रीम कोर्ट ने ट्रंप की अर्जी को खारिज करते हुए कहा है कि, वर्चुअल सुनवाई से ट्रंप के ट्रांजिशन में कोई बदलाव नहीं होगा। कोर्ट ने आगे कहा कि, ट्रंप के खिलाफ मामलों को राष्ट्रपति पद से कोई भी लेना-देना नहीं है। इसलिए उनको दोषी ठहराने से उनके पर्सनल कामों में कई परेशानी नहीं आएगी।
Created On :   10 Jan 2025 12:37 PM IST