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फैक्ट चेक: नेपाल-तिब्बत सीमा पर आए भूकंप से जोड़कर एआई तस्वीर हो रही वायरल, रिवर्स सर्च में पता चली सच्चाई
- नेपाल-तिब्बत भूकंप के नाम से पोस्ट वायरल
- तस्वीर में नजर आ रहा मलबे में दबा मासूम
- एआई की मदद से बनाई गई फोटो
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। नेपाल-तिब्बत बॉर्ड के पास हाल ही में 7.1 तीव्रता से भूकंप आया था। इसी घटना से जुड़े कई पोस्ट सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। इस बीच एक मासूम बच्चे की भी तस्वीर तूल पकड़ रही है। फोटो में बच्चे को मलबे के नीचे दबे हुए देखा जा सकता है। पोस्ट काफी ज्यादा दर्दनाक है। लोग इस तस्वीर को असली समझ कर काफी ज्यादा वायरल कर रहे हैं। आपको बता दें कि, वायरल पोस्ट असली नहीं बल्कि एआई की मदद से क्रिएट किया गया है।
क्या हो रहा है वायरल?
‘Viral Sikkim’ नामक फेसबुक यूजर ने 8 जनवरी 2025 को वायरल पोस्ट अपने अकाउंट पर शेयर कर लिखा- कल 7 तारीख की सुबह आए भूकंप में जब 288 से ज़्यादा लोगों की जान चली गई और माउंट एवरेस्ट के पास चीन के तिब्बत में 3000 से ज्यादा इमारतें नष्ट हो गईं, तब भी ये नन्हीं बच्ची उस भयानक भूकंप के धुएं और मलबे से ऐसे बची रही जैसे उसका पुनर्जन्म हुआ हो। खंडहरों की ईंटों के भीतर जीवन का एक चमकीला दीया जलता है। भूकंप से तबाह शहरों के बीच ये बच्चे उम्मीद के पौधे बनेंगे, जैसे अंधेरी रात के बाद सूरज चमकना शुरू होता है। प्रकृति ने विनाश किया, लेकिन इस बच्ची ने भविष्य का मधुर गीत गाकर दुनिया को जीत लिया।
क्या है वायरल पोस्ट के पीछे की सच्चाई?
वायरल पोस्ट की सच्चाई पता लगाने के लिए हमने तस्वीर को ध्यान से देखा। तस्वीर देखने में ही असली नहीं लग रही है। बच्चे की आखें और हाथ काफी चिकने नजर आ रहे हैं। इससे शक और भी ज्यादा बढ़ जाता है। इसके बाद हमने एआई टूल की मदद ली ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके। हाइव मॉडरेशन टूल पर इमेज को सर्च करने पर हमें एक बड़ी जानकारी मिली। इस एआई टूल के मुताबिक, वायरल पोस्ट को 88 परसेंट एआई जनरेटेड बताया।
इसके अलावा हमने साईट इंजिन टूल की भी मदद ली। इस एआई इमेज डिटेक्शन टूल के अनुसार, मासूम बच्चे की वायरल तस्वीर 89 परसेंट एआई क्रिएटेड है। इससे यह साफ होता है कि लोग जिस तस्वीर को असली समझ कर शेयर कर रहे हैं वह असल में फेक है।
Created On :   16 Jan 2025 6:28 PM IST