लेखक मुजतबा हुसैन ने नागरिकता कानून को लेकर जताया विरोध, पद्मश्री सम्मान लौटाने की घोषणा
डिजिटल डेस्क, मुम्बई। नागरिकता कानून को लेकर देश में चल रहे मौजूदा हालात के चलते, उर्दू लेखक मुजतबा हुसैन ने अपने पद्म पुरस्कार को वापस लौटाने की घोषणा की है। साल 2007 में उन्हें उन्हें पद्म श्री से सम्मानित किया गया था, लेकिन वर्तमान हालात को देखते हुए उन्होंने नागरिकता कानून को लोकतंत्र के लिए हमला बताया।
लेखक हुसैन ने कहा कि "देश में अशांति, भय और नफरत की जो आग भड़काई जा रही है, वह वास्तव में परेशान करने वाली है। जिस लोकतंत्र के लिए हमने इतना दर्द झेला और जिस तरह से इसे बर्बाद किया जा रहा है कि वह निंदनीय है। इन परिस्थितियों में मैं किसी सरकारी पुरस्कार को अपने अधिकार में नहीं रखना चाहता।"
वहीं नागरिकता कानून के बारे में हुसैन का कहना है कि "मैं 87 साल का हूं। मैं इस देश के भविष्य को लेकर अधिक चिंतित हूं। मैं इस देश की प्रकृति के बारे में चिंतित हूं जिसे मैं अपने बच्चों और अगली पीढ़ी के लिए छोड़ता हूं।"
Created On :   18 Dec 2019 3:10 AM GMT