ऑर्किड्स द इंटरनेशनल स्कूल ने भोपाल में पहला स्कूल खोलने की घोषणा की, चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने किया उद्घाटन
डिजिटल डेस्क, भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में ऑर्किड्स द इंटरनेशनल स्कूल ने आधिकारिक तौर पर पहला स्कूल होशंगाबाद रोड स्थित रतनपुर सड़क पर खोलने की घोषणा की है। लॉन्च कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग और विशेष अतिथि के रूप में भोपाल महापौर मालती राय मौजूद रहीं। ऑर्किड्स द इंटरनेशनल स्कूल, भोपाल की प्रिंसिपल अपर्णा शर्मा ने बताया कि, स्कूल हॉर्टिकल्चर, एस्ट्रोनॉमी, रोबोटिक्स, सार्वजनिक भाषण और वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम सहित छात्रों के लिए एक इनोवेटिव सिलबेस प्रदान करता है। इस दौरान स्कूल मॉडल और पाठ्यक्रम पर प्रकाश डाला गया। समूह का लक्ष्य अगले चार वर्षों में पूरे भारत में 150+ शाखाओं में विस्तार करना है।
ज्ञान गंगा ऑर्किड्स द इंटरनेशनल स्कूल के रूप में जाना जाने वाला यह स्कूल लगभग 4.5 एकड़ के विशाल क्षेत्र में बनाया गया है। इसमें DIY लैब, एक म्यूजिक और डांस स्टूडियो, एक थिएटर, हर कक्षा में डिजिटल बोर्ड, कला और शिल्प के लिए एक एक्टिविटी क्लासरूम, किंडरगार्टन के लिए एक प्ले स्टेशन, सांइस लैब, स्कूल टाइम पर नर्स के साथ संसाधन युक्त अस्पताल और कई दूसरी सुविधाएं छात्रों को दी गई हैं।
प्रिंसिपल अपर्णा शर्मा ने बताया कि, स्कूल में नर्सरी से 12वीं कक्षा तक की कक्षाएं हैं और यह सीबीएसई से संबद्ध है। स्कूल में अनुभव आधारित शिक्षा, STEAM और मल्टीपल इंटेलिजेंस पेडागॉजी की शिक्षा पर फोकस किया जाएगा। जिसमें प्रोजेक्ट- आधारित शिक्षा और शारीरिक शिक्षा पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। स्कूल जरूरतमंद छात्रों को विशेष रूप से उनके लिए डिजाइन किए गए विशेषज्ञों और कार्यक्रमों की सहायता से विशेष शिक्षा भी प्रदान करेगा।
स्कूल के पास अपने पाठ्यक्रम में कई यूनिक प्रोग्राम है, जिसमें हॉर्टिकल्चर, पब्लिक स्पीकिंग, वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम, खगोल विज्ञान और रोबोटिक्स शामिल हैं। हॉर्टिकल्चर हॉर्टिकल्चर पाठ्यक्रम में सिद्धांत और व्यवहार दोनों तरह की शिक्षा शामिल है। परिसर में एक पॉलीहाउस, हाइड्रोपोनिक्स और फूलों, फलों, औषधीय पौधों और सब्जियों की हरियाली भी मिलेगी। वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम को छात्रों को आर्थिक रूप से साक्षर बनाने में मदद करने के साथ-साथ उन्हें अर्थव्यवस्था और वित्तीय प्रणाली के बारे में भी सिखाएंगे। बदलते आर्थिक परिवेश में जोखिम पर काबू पाने में सहायता करने के लिए सिलेबस डिजाइन किए गए हैं।
DIY कक्षा 1 से कक्षा 10 तक के छात्रों को DIY लैबोरेट्री में किताबों के सेट के साथ किट प्रदान की जाती है। इसकी मदद से नई वस्तुएं बनाने और दैनिक जीवन में इस्तेमाल की जाने वाली चीजों को दुरुस्त करने के लिए निर्देशित किया जाता है। लैब स्टील और लकड़ी काटने की मशीनों से लैस है, जिन पर शिक्षकों द्वारा अच्छी तरह से निगरानी रखी जाती है। यहां बच्चे अपनी क्रिएटिविटी को निखारने में मदद करने के लिए नई वस्तुएं बना सकते हैं। रोबोटिक्स बच्चों के लिए रोबोटिक्स पाठ्यक्रम को बेहद बारीकी से डिजाइन किया गया है, ताकि युवा प्रतिभाओं में प्रौद्योगिकी और रोबोटिक्स की दुनिया को बड़े स्तर से जानने की ललक पैदा हो सके।
उन्होंने कहा कि, 'दो दशकों से भी कम समय में देश के 25 से ज्यादा बड़े शहरों - मुंबई, बेंगलुरु, पुणे, हैदराबाद, गुरुग्राम, चेत्रई, कोलकाता, नागपुर, नासिक, इंदौर, औरंगाबाद में फैली इनकी शाखाओं की संख्या बढ़कर 10 हो गयी है। आधुनिक भौतिक बुनियादी ढांचे, व्यक्तिगत ध्यान और एक सावधानी पूर्वक क्यूरेटेड पाठ्यक्रम सभी ओआईएस स्कूलों में एकरूपता प्रदान करते हैं। ओआईएस अकादमिक उत्कृष्टता के साथ व्यक्तित्व विकास पर जोर देने के लिए अंतर्राष्ट्रीय शिक्षण पद्धतियों से प्रभावित सीबीएसई और आईसीएसई पाठ्यक्रम का पालन करते हैं।
Created On :   29 March 2023 10:30 AM IST