सड़क दुर्घटना में घायल होने से गंभीर हुए पॉलिसी धारक को भी स्टार हेल्थ से मिली निराशा
डिजिटल डेस्क,जबलपुर। पॉलिसी लेने के महीनों बाद किसी बीमारी का शिकार होने पर बीमित को क्लेम देने से बीमा कंपनी बचती नजर आ रही है। यहाँ तक की पॉलिसी धारक की मौत होने के बाद भी इंश्योरेंस कंपनी के जिम्मेदार अधिकारियों का दिल नहीं पसीज रहा। यह आरोप पॉलिसी धारकों के द्वारा लगाया जा रहा है। बीमित के परिजनों का कहना है कि बीमा कंपनी बेवजह हमें परेशान कर मानसिक तकलीफ दे रही है। स्थिति यह है कि अस्पताल में भर्ती होने पर बीमा कंपनी कैशलेस नहीं दे रही है और बिल लगाने पर अनेक प्रकार से कटौती कर रही है या फिर क्लेम को ही रिजेक्ट कर रही है। टोल फ्री नंबर के साथ ही बीमा कंपनी के जिम्मेदार अधिकारियों से जो वार्तालाप किया जाता है, उसमें अलग-अलग तर्क दिए जाते हैं जिसके कारण पॉलिसी धारक उनके जवाबों से संतुष्ट नहीं हो रहे हैं।
इन नंबरों पर बीमा से संबंधित समस्या बताएँ
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इलाज के दौरान कैशलेस से कर दिया था इनकार
कानपुर ईडब्ल्यूएस बर्रा तीन कानपुर निवासी अंकित शर्मा ने अपनी शिकायत में बताया कि उन्होंने एक वर्ष पूर्व स्टार हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी से स्वास्थ्य बीमा कराया था। पॉलिसी क्रमांक पी/171135/01/2022/025038 का कैशलेस कार्ड भी दिया गया था। घर लौटते हुए 24 नवंबर 2022 को तेजगति से आ रहे वाहन ने पीछे से टक्कर मार दी। हादसे में उसे गंभीर चोटें आने के कारण इलाज के लिए निजी अस्पताल में भर्ती किया गया था। वहाँ पर बीमा कंपनी से कैशलेस के लिए कहा गया तो स्टार हेल्थ ने कैशलेस से साफ इनकार कर दिया था। बीमित को पूरा इलाज अपने खर्च पर कराना पड़ा। ठीक होने के बाद बीमा कंपनी में सारे बिल व रिपोर्ट सबमिट की गई तो उसमें अनेक प्रकार की क्वेरी निकाली गईं। बीमा अधिकारियों की माँग पर दोबारा सारे दस्तावेज बीमित ने बीमा कंपनी में भेजे और वहाँ से जल्द भुगतान का दावा किया गया पर बाद में यह कहते हुए क्लेम रिजेक्ट कर दिया कि आप शराब का सेवन करते हैं इसलिए हम क्लेम नहीं दे सकते हैं। बीमित ने सारे तथ्य दिए उसके बाद भी स्टार हेल्थ के अधिकारी उसे मानने तैयार नहीं हैं। पीड़ित का आरोप है कि जिम्मेदार जानबूझकर गोलमाल कर रहे हैं।
Created On :   16 Jan 2023 3:16 PM IST