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लाखों रुपए खर्च कर लगाए गए पौधे हो गए नष्ट, फिर गलती दोहराने का प्रयास
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डिजिटल डेस्क, गड़चिरोली । राज्य के वनमंत्री सुधीर मुनगंटीवार द्वारा पर्यावरण के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए महत्वकांक्षी पौधारोपण मुहिम आरंभ की गई है। मुहिम के तहत इस वर्ष भी आगामी 1 जुलाई को 50 करोड़ पौधारोपण किया जाएगा। इसके लिए वनविभाग ने इस वर्ष भी लाखों रुपए खर्च कर रोप वाटिकाओं से पौधे उपलब्ध कराने से लेकर गड्ढे खोदने का कार्य युद्धस्तर पर किया जा रहा है।
इस वर्ष की पौधारोपण मुहिम को सफल करने के लिए जहां प्रशासनिक अधिकारियों ने कमर कसी है, वहीं राजनीतिक पार्टियों के नेताओं द्वारा भी वृक्ष दिंडियां निकालकर जनजागृति का कार्य किया जा रहा है लेकिन मुहिम के दौरान रोपे गये पौधों के संवर्धन के संदर्भ में अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। फलस्वरूप जिले में विगत तीन वर्षों की कालावधि में विभिन्न जगहों पर रोपे गये पौधों के संवर्धन में वनविभाग पूरी तरह विफल साबित होता नजर आ रहा हैं। इस संदर्भ में जिला मुख्यालय स्थित वनविभाग समेत विभिन्न सरकारी कार्यालय परिसर का दौरा किया।
गत वर्ष प्रशासनिक विभागों ने जिस जगह पौधारोपण किया था, उस स्थान पर पौधे पूरी तरह नष्ट हो गये हैं। इसी क्रम में गड़चिरोली वनविभाग के अधीनस्थ शिल्पग्राम प्रकल्प परिसर में विभाग तीन वर्षों से पौधारोपण किया जा रहा है। जबकि इस परिसर के 50 फीसदी पौधे पूरी तरह से जीवित नहीं बचे हैं लेकिन सरकारी दस्तावेजों पर विभाग अपनी वाहवाही लूट रहा है। यहीं नहीं मुहिम के बाद रोपे गये पौधों की जानकारी वनविभाग के सरकारी वेबसाइट पर अपलोड की जाती है। आज भी वनविभाग की वेबसाइट में 90 फीसदी से अधिक पौधे खड़े होने का दावा किया गया है, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही बयां कर रही हैं।
प्रतिवर्ष खर्च होती है लाखों की निधि
आदिवासी बहुल गड़चिरोली जिले में 75 फीसदी जंगल मौजूद है। जिले की हरियाली और पर्यावरण का आनंद उठाने प्रतिवर्ष सैकड़ों की संख्या में पर्यटक यहां पहुंचते हैं। जिले में पेड़ों की अधिक संख्या मौजूद होने के बावजूद प्रतिवर्ष पौधारोपण मुहिम चलाई जाती है। मुहिम के तहत विभिन्न विभाग की ओर से गड्ढों को खोदने से लेकर पौधों की खरीदी और कार्यक्रम के लिए लाखों रुपए की निधि खर्च कर देते है। बता दें कि गत दिनों विधानसभा विपक्ष नेता व विधायक विजय वडेट्टीवार ने भी जिले की इस मुहिम पर आपत्ति जताते हुए इस मुहिम को छलावा बताया था। इस वर्ष फिर एक बार इस मुहिम पर लाखों रुपये खर्च करने की तैयारी की जा रही है।
Created On :   28 Jun 2019 12:54 PM IST