जबलपुर: तिराहे को घेरकर खड़े हो जाते हैं तिपहिया वाहन, अराजक हुआ यातायात, लोग त्रस्त

तिराहे को घेरकर खड़े हो जाते हैं तिपहिया वाहन, अराजक हुआ यातायात, लोग त्रस्त
  • राँझी स्थित दर्शन सिंह तिराहे पर नासूर बने ई-रिक्शा और ऑटो चालक बन रहे जाम व सड़क हादसों का सबब
  • सड़क हादसे घटित होने का अंदेशा भी बना हुआ है
  • नगर निगम और यातायात पुलिस के जिम्मेदार मूकदर्शक बने हुए हैं

डिजिटल डेस्क,जबलपुर। शहर भर में अभी तक सिर्फ तिपहिए ऑटो चालक ही समस्याओं का सबब बने हुए थे, लेकिन इस फेहरिश्त में अब ई-रिक्शा चालक भी शामिल हो चुके हैं।

यही वजह है कि राँझी स्थित दर्शन सिंह तिराहे पर सुबह से लेकर देर शाम तक ई-रिक्शा और तिपहिए ऑटो चालक बड़ी संख्या में सड़क पर ही खड़े रहते हैं।

इस दौरान पैदल चलने और वाहन दौड़ाने तक में लोगों को परेशानियाँ झेलनी पड़ रही हैं। इसके अलावा सड़क हादसे घटित होने का अंदेशा भी बना हुआ है, लेकिन इसके बावजूद नगर निगम और यातायात पुलिस के जिम्मेदार मूकदर्शक बने हुए हैं।

सुबह से ही शुरू हो जाती है धमाचौकड़ी

क्षेत्रीय जनों एसके श्रीवास्तव, सुरेश महिवाल, देवेन्द्र शुक्ला, राजेश रस्तोगी एवं दिनेश संह आदि ने बताया कि लगभग एक दर्जन ई-रिक्शा और तिपहिए ऑटो चालक सुबह 10 बजे के बाद से ही दर्शन सिंह तिराहे पर खड़े हो जाते हैं।

इसके बाद सवारियों के लालच में शाम करीब 6 बजे तक ई-रिक्शा चालक यहीं पर खड़े रहते हैं और सवारी दिखते ही उन पर झपटने के साथ ही आपसी विवाद तक करने लगते हैं।

रेड सिंग्नल होते ही लग जाता है जाम

दर्शन सिंह तिराहे पर कुछ दिनों पहले ही यातायात पुलिस ने ट्रैफिक सिग्नल लगवाया है। इस दौरान जब भी रेड सिग्नल होता है तो ई-रिक्शा एवं सवारी ऑटो के खड़े रहने से यहाँ लम्बा जाम लग जाता है और तब यहाँ की व्यवस्थाएँ खासी अराजक हो जाती हैं।

इतना ही नहीं, अनेक बार तो छुट-पुट एक्सीडेंट भी यहाँ सामने आ जाते हैं, लेकिन इसके बावजूद पूरी दबंगई के साथ ई-रिक्शा चालक हटने का नाम नहीं लेते हैं।

सर्वाधिक समस्या दोपहर 3 से शाम 6 बजे तक देखने को मिलती है, जब तिराहे पर भीड़ बढ़ती है और यहाँ अराजक माहौल निर्मित हो जाता है। इस तरह चालकों की हुड़दंग का गढ़ बना रहता है।

शिकायतों के बावजूद जिम्मेदार नहीं देते ध्यान

क्षेत्रीय जनों का आरोप है कि दर्शन सिंह तिराहे पर रोजाना हो रहीं इन समस्याओं को लेकर अनेक बार नगर निगम एवं यातायात पुलिस तक शिकायतें पहुँचाई गईं,

लेकिन इसके बाद संबंधित जिम्मेदारों ने एक-दो बार यहाँ आकर जायजा तो लिया, लेकिन ठोस कार्रवाई उन्होंने कभी नहीं की।

यही वजह है कि ई-रिक्शा चालकों का आतंक यहाँ बना हुआ है और आम लोगों को कई तरह की परेशानियाँ झेलनी पड़ रही हैं। इतना ही नहीं, अधिकांश ई-रिक्शा चालक किशोरवय हैं।

और उन्हें यातायात नियमों की कोई जानकारी नहीं होती है, लेकिन इसके बावजूद यातायात पुलिस द्वारा ई-रिक्शा चालकों को ट्रैफिक नियमाें से अवगत तक नहीं कराया जा रहा है।

और इसी कारण उनकी मनमानी और आतंक निरंतर बने हुए हैं।

ई-रिक्शा चालकों से दर्शन तिराहे पर होने वाली समस्याओं की जानकारी लेने के लिए जल्द ही वहाँ का निरीक्षण किया जाएगा। इसके बाद उचित कार्रवाई कर वहाँ होने वाली परेशानियों को अवश्य दूर किया जाएगा।

संतोष कुमार शुक्ला, डीएसपी, ट्रैफिक पुलिस, जबलपुर

Created On :   31 Jan 2024 11:14 AM GMT

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