गुजरात में कांग्रेस से ही मुख्य मुकाबला, भाजपा फिर बनाएगी सरकार : केंद्रीय मंत्री रूपाला
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। गुजरात विधानसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान से पहले समान नागरिक संहिता को लेकर गुजरात की भाजपा सरकार ने एक बड़ा राजनीतिक दांव खेल दिया है। शनिवार को गुजरात सरकार ने राज्य कैबिनेट की बैठक के बाद यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू करने की दिशा में आगे बढ़ते हुए एक कमेटी बनाने की घोषणा कर दी।
हालांकि आईएएनएस के साथ खास बातचीत करते हुए केंद्रीय मत्स्य पालन, पशुपालन और डेयरी मंत्री एवं गुजरात से राज्य सभा सांसद परशोत्तम रूपाला ने इसे राष्ट्रहित में लिया गया ऐतिहासिक फैसला बताते हुए कहा कि इस फैसले को चुनावी रणनीति के साथ जोड़ कर नहीं देखा जाना चाहिए।
गुजरात सरकार के फैसले, गुजरात विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी की एंट्री और उसके आक्रामक प्रचार अभियान और कांग्रेस की राजनीतिक स्थिति सहित कई मुद्दों पर आईएएनएस के वरिष्ठ सहायक संपादक संतोष कुमार पाठक ने गुजरात भाजपा के कद्दावर नेता और केंद्रीय मंत्री परशोत्तम रूपाला से खास बातचीत की।
पेश है इस खास बातचीत के कुछ अंश :
सवाल : समान नागरिक संहिता को लेकर कमेटी के गठन के गुजरात सरकार के फैसले की टाइमिंग को लेकर कई तरह के सवाल उठाए जा रहे हैं कि आखिर यह फैसला इस समय क्यों किया गया जब विधान सभा चुनाव बिल्कुल नजदीक है?
जवाब : यह फैसला अभी क्यों लिया गया, इस सवाल को आखिर क्यों पूछा जा रहा है? चर्चा तो इस बात पर होनी चाहिए कि यह फैसला सही है या गलत। यूनिफॉर्म सिविल कोड बनाने की मुहिम जो गुजरात सरकार के द्वारा शुरू हुई है, उसमें कहीं कोई गलती है क्या, चर्चा तो इस बात पर होनी चाहिए। देश को बहुत लंबे अर्से से इसकी जरूरत थी। गुजरात सरकार को बधाई है कि उन्होंने इसे लेकर काम करना शुरू किया। यह राजनीतिक नहीं, राष्ट्रनीति के तहत लिया गया ऐतिहासिक फैसला है।
सवाल : लेकिन राज्य में यूनिफॉर्म सिविल कोड कैसे लागू किया जाएगा?
जवाब : यह गुजरात सरकार के फैसले में ही स्पष्ट है कि हाई कोर्ट के रिटायर्ड न्यायाधीश की अध्यक्षता में कमेटी बनेगी। यह कमेटी भारत के संविधान, कानून और यूनिफॉर्म सिविल कोड के सभी पहलुओं पर गहराई से विचार-विमर्श करने के बाद अपनी सिफारिशें राज्य सरकार को देंगी। उन सिफारिशों के तहत ही फिर राज्य सरकार इसे कानूनी अंजाम देने का प्रयास करेगी।
सवाल : लेकिन आपके विरोधियों का तो यह कहना है कि आम आदमी पार्टी ने नोटों पर लक्ष्मी-गणेश की तस्वीर लगाने की मांग कर हिंदुत्व का मुद्दा भाजपा से छीनने की कोशिश की थी, जिसके जवाब में भाजपा सरकार को यह फैसला लेना पड़ा?
जवाब : देखिए, यह फैसला किसी भी तरह से राजनीति से प्रेरित नहीं है, बल्कि राष्ट्रनीति को देखते हुए यह ऐतिहासिक फैसला किया गया है। यह न तो हिंदू के पक्ष में है और न मुसलमान के पक्ष में है। यह किसी के पक्ष या किसी के विरोध में नहीं, बल्कि सभी को एक समान लाने के लिए लिया गया फैसला है। इसे चुनावी रणनीति के साथ जोड़ कर नहीं देखना चाहिए।
सवाल : विरोधी दलों के स्टैंड पर आप क्या कहेंगे?
जवाब : विरोधी दलों को राष्ट्रहित एवं राष्ट्रनीति की कोई चिंता नहीं है, बल्कि उन्हें अपने-अपने वोट बैंक की चिंता ज्यादा है। इसलिए वो वर्ग विशेष को खुश करने के लिए ऐसी बातें कर रहे हैं। मैं विरोधी दलों को चुनौती देता हूं कि वो अपना स्टैंड स्पष्ट करें और बताएं कि आखिर यह फैसला किसके पक्ष में है? क्या यह हिंदुओं के पक्ष में है या मुसलमानों के पक्ष में है या सबके पक्ष में है? यह तो राष्ट्रनीति और लोकतंत्र को मजबूत करने वाला निर्णय है। सभी विरोधी दलों से मेरी अपील है कि राष्ट्रहित में सभी को इसका समर्थन करना चाहिए।
सवाल : गुजरात में 1995 से भाजपा लगातार सत्ता में है। इससे पहले के चुनावों में आप लोगों का मुख्य मुकाबला कांग्रेस से ही होता आया है, लेकिन इस बार कांग्रेस शांत नजर आ रही है और आम आदमी पार्टी बहुत ही आक्रामक तरीके से प्रचार कर रही है। ऐसे में गुजरात में इस बार भाजपा का मुख्य मुकाबला किसके साथ होने जा रहा है - कांग्रेस या आप?
जवाब : गुजरात में कांग्रेस साफ हो गई है, ऐसा कहना उचित नहीं होगा, वहां कांग्रेस ही मुख्य विपक्षी दल के रूप में रहेगा और जहां तक आप का सवाल है, वह पहले भी अन्य राज्यों में इसी तरह बड़ी-बड़ी बातें करके चुनाव लड़ चुके हैं। यह आप की चुनावी रणनीति है और वो उसी हिसाब से लड़ रही है, लेकिन प्रदेश में मुख्य विपक्षी दल की भूमिका में कांग्रेस ही रहेगी।
सवाल : लेकिन आप तो गुजरात में मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार का नाम भी घोषित करने जा रही है?
जवाब : लोकतंत्र में सबको अपने-अपने उम्मीदवार को घोषित करने का अधिकार है।
सवाल : आपके हिसाब से इस बार गुजरात विधान सभा चुनाव में सबसे बड़ा मुद्दा क्या रहने वाला है?
जवाब : भाजपा की राज्य सरकारों के कामकाज का अनुभव गुजरात की जनता को है। गुजरात की जनता ने हमारे मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, दोनों के कामकाज को देखा है। जनता ने यह देखा है कि हमारी दोनों सरकारें किस तरह से गुजरात और देश के हित में लगातार काम कर रही है, बड़े-बड़े फैसले ले रही है। इसलिए गुजरात की जनता इस बार भी विकास के एजेंडे पर मुहर लगाते हुए प्रदेश में भाजपा सरकार बनाने के लिए ही वोट करने जा रही है।
सवाल : कितनी सीटों पर भाजपा इस बार जीतने जा रही है?
जवाब : सीटों की संख्या को बताना मैं उचित नहीं मानता हूं, लेकिन इतना तय है कि इस बार अब तक की सर्वाधिक सीटों पर जीत हासिल कर भाजपा प्रदेश में प्रचंड बहुमत के साथ एक बार फिर से सरकार बनाने जा रही है।
(आईएएनएस)
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Created On :   29 Oct 2022 9:30 PM IST