पूर्वोत्तर के विकास के लिए 9 वर्षों में 5 लाख करोड़ रुपये खर्च किए : मंत्री

District Mineral Fund is not being used in Gadchiroli!
गड़चिरोली में जिला खनिज निधि का नहीं हो रहा कोई उपयाेग!
असम पूर्वोत्तर के विकास के लिए 9 वर्षों में 5 लाख करोड़ रुपये खर्च किए : मंत्री
हाईलाइट
  • शांति समझौते पर हस्ताक्षर

डिजिटल डेस्क, शिलांग। केंद्रीय पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास, संस्कृति और पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ने शुक्रवार को कहा कि पिछले नौ वर्षों में पूर्वोत्तर क्षेत्र में विकास सुनिश्चित करने के लिए 5 लाख करोड़ रुपये से अधिक खर्च किए गए हैं, पूर्वोत्तर में आठ राज्य शामिल हैं।

उन्होंने कहा कि 17 नए हवाईअड्डों, 1.05 लाख रुपये की लागत वाली सड़क परियोजनाओं और 77,930 करोड़ रुपये की चल रही रेल परियोजनाओं जैसी कई मेगा कनेक्टिविटी परियोजनाओं को क्रियान्वित किया जा रहा है।

मंत्री ने शिलांग में असम राइफल्स के 188वें स्थापना दिवस समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि लोगों के लिए विकास के कई अवसर खोलने के लिए पूर्वोत्तर में हर क्षेत्र में तेजी लाई जा रही है। क्षेत्र के विकास के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ²ष्टिकोण का जिक्र करते हुए रेड्डी ने कहा कि पूर्वोत्तर क्षेत्र को भारत के विकास इंजन के रूप में स्थापित किया जाएगा।

उन्होंने कहा, इस ²ष्टि के अनुरूप, पूर्वोत्तर क्षेत्र में एक नए युग की शुरूआत हुई है और सभी क्षेत्रों में विकास तेजी से बढ़ा है, चाहे वह बुनियादी ढांचा हो, कनेक्टिविटी हो, शांति और स्थिरता हो। विभिन्न उग्रवादी संगठनों के 8,000 से अधिक सशस्त्र कैडरों ने आत्मसमर्पण किया और मुख्यधारा में शामिल हो गए और प्रधान मंत्री के नेतृत्व में कई शांति समझौते पर हस्ताक्षर किए गए हैं।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि असम राइफल्स के पास 1835 से वीरता की अद्वितीय विरासत है और सबसे अधिक संख्या में वीरता पुरस्कारों से सम्मानित होने का गौरव रखती है। उन्होंने आगे कहा कि ड्यूटी के दौरान अर्धसैनिक बल के बहादुर जवानों के सर्वोच्च बलिदान के माध्यम से यह संभव हो पाया है।

रेड्डी ने कहा कि पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए इस नए प्रतिमान को हासिल करने में असम राइफल्स का बड़ा योगदान है। शांति के इस युग ने हमें पूर्वोत्तर क्षेत्र की वास्तविक क्षमता का एहसास करने में सक्षम बनाया है, और अब हम पूर्वोत्तर राज्यों में आयोजित होने वाले विभिन्न जी20 शिखर सम्मेलनों के दौरान विश्व समुदाय के सामने विभिन्न क्षेत्रों में अपनी ताकत को आत्मविश्वास से प्रदर्शित कर सकते हैं।

उन्होंने यह भी कहा कि पूरे क्षेत्र में आयोजित होने वाले ये जी20 सम्मेलन, अष्टलक्ष्मी राज्यों को भारत के विकास केंद्रों के रूप में स्थापित करने में मदद करेंगे।

 

आईएएनएस

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ bhaskarhindi.com की टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

Created On :   25 March 2023 12:00 AM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story