एक दशक पुरानी जनगणना को आधार मान परिसीमन करना अवैज्ञानिक: दिल्ली कांग्रेस
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दिल्ली म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन एक्ट 1957 की धारा 3,3 ए एवं 5 द्वारा निहित शक्तियों का प्रयोग करते हुए निगम वाडरें के परिसीमन एवं उससे से जुड़े अन्य कार्यों में केंद्र सरकार की सहायता के लिए परिसीमन कमेटी का गठन कर दिया है, दिल्ली कांग्रेस ने इसपर सवाल करते हुए कहा, दिल्ली की वास्तविक जनसंख्या का बिना आंकलन, किस प्रकार से परिसीमन किया जा सकता है? अवैज्ञानिक तरीके से किसी भी प्रकार की परिसीमन का पार्टी विरोध करेगी।
कांग्रेस के मुताबिक, पिछले 10 वर्षों में कई इलाके है जहां नई बस्तियाँ बसने पर जनसंख्या बढ़ी फिर 2011 की जनसंख्या के आधार पर 250 वार्ड बनाने का निर्णय कैसे लिया गया, इसका संतोषजनक जवाब हमें आज तक नहीं मिला। दिल्ली प्रदेश कांग्रेस अनिल चौधरी ने कहा, परिसीमन की प्रक्रिया को वैज्ञानिक, निष्पक्ष, जमीनी स्थिति को देखकर तथा जनहित में हो। इसके लिए परिसीमन समिति को किसी भी प्रक्रिया को शुरू करने से पहले सभी दलों को केंद्र सरकार से उन्हें क्या टर्म ऑफ रेफरेंस दिये गए हैं, इसकी जानकारी देनी चाहिए तथा सभी को विश्वास में लेना चाहिए।
काँग्रेस पार्टी नगर निगम के एकीकरण तथा डेलीमिटेशन प्रक्रिया से असहमत है लेकिन कांग्रेस पार्टी जल्द चुनाव के पक्ष में है, ताकि जनता के काम चुने हुए प्रतिनिधि के माध्यम से हो। जबकि भाजपा दिल्ली नगर निगम को अपने प्रशासनिक नुमाईंदों के माध्यम से चला रही है जिसके चलते सभी तानाशाह फैसले दिल्लीवासियों के हितों से दूर भाजपा की मंशा पर किए जा रहे हैं।
दरअसल केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने शनिवार को एक अधिसूचना जारी कर निगम के एकीकरण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाने के लिए निगम वाडरें के परिसीमन के लिए कमिटी गठित किया है। तीन सदस्यों की कमिटी प्रमुख राज्य के चुनाव आयुक्त विजय देव होंगे। शहरी विकास मंत्रालय के संयुक्त सचिव पंकज कुमार सिंह और निगम के अतिरिक्त आयुक्त रणधीर सहाय इस आयोग के सदस्य होंगे।
(आईएएनएस)
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Created On :   9 July 2022 9:00 PM IST