एमजीआर के स्वर्णिम काल की वापसी के लिए प्रयास करेगी अन्नाद्रमुक तमिलनाडु
- द्रमुक सरकार से छुटकारा पाने का किया आह्वान
डिजिटल डेस्क, चेन्नई । तमिलनाडु में विपक्षी पार्टी अन्नाद्रमुक ने पार्टी कार्यकर्ताओं और आम जनता से दिवंगत नेता एम.जी. रामचंद्रन (एमजीआर) के स्वर्णिम युग की वापसी के लिए प्रयास करने और भ्रष्ट तथा अक्षम द्रमुक सरकार से छुटकारा पाने का आह्वान किया है। दिवंगत एमजीआर का 105वां जन्मदिन सोमवार को मनाया जाएगा।
पार्टी नेताओं और तमिलनाडु के पूर्व मुख्यमंत्रियों ओ. पनीरसेल्वम और ई के. पलानीस्वामी ने शनिवार को एक बयान में कहा कि राज्य की द्रमुक सरकार के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन जो कहते हैं वह उस पर कतई अमल नहीं करते हैं। अन्नाद्रमुक नेताओं ने कहा कि पार्टी द्रमुक सरकार और उसकी जनविरोधी नीतियों के खिलाफ पूरी ताकत से संघर्ष करेगी।
इन नेताओं ने एक बयान में कहा है, हम अपनी पार्टी के लोगों और सहानुभूति रखने वालों से पुरैची थलाइवर एमजीआर और पुरात्ची थलाइवी अम्मा, जे. जयललिता के सुनहरे शासन को वापस लाने का संकल्प लेने का अनुरोध करते हैं। नेताओं ने पार्टी के लोगों से जे जयललिता द्वारा दिखाए गए साहस और ज्ञान तथा एमजीआर के बताए रास्ते पर चलने का आह्वान किया।
अन्नाद्रमुक नेताओं ने कहा कि दिवंगत मुख्यमंत्री एमजीआर की जनकल्याण संबंधी गतिविधियां सराहनीय हैं और उन जैसा कोई नेता नहीं है जिसने कड़ी मेहनत से अर्जित की गई संपत्ति को गरीब लोगों को दान कर दिया हो। अन्नाद्रमुक नेताओं ने कहा कि एमजीआर ही राज्य में पौष्टिक दोपहर भोजन योजना लेकर आए थे। पार्टी नेताओं ने कहा कि एमजीआर ने 1977 से 1987 के एक दशक तक तमिलनाडु में सरकार का नेतृत्व किया था लेकिन उनके शासन को हमेशा तमिलनाडु का स्वर्णिम दौर माना जाएगा।
अन्नाद्रमुक की अपदस्थ नेता वीके शशिकला ने एक अन्य बयान में कहा कि पार्टी का विलय राज्य में अन्नाद्रमुक शासन को बहाल करने के लिए अनिवार्य था। उन्होंने यह भी कहा कि एमजीआर ने 1972 में अन्नाद्रमुक का गठन किया था और उस समय पार्टी के उपनियमों में साफ कहा गया कहा था कि कार्यकर्ताओं को पार्टी नेताओं का चुनाव करना चाहिए।
(आईएएनएस)
Created On :   16 Jan 2022 2:30 PM IST