आतंकवाद के खिलाफ भारत का साथ देगा ये मुस्लिम देश, दोनों देश साथ में लड़कर तोड़गे आंतक की कमर, मिस्र के राष्ट्रपति से मिलकर और क्या बोले पीएम मोदी?

This Muslim country will support India against terrorism, both countries will fight together to break the back of terror, what did PM Modi say
आतंकवाद के खिलाफ भारत का साथ देगा ये मुस्लिम देश, दोनों देश साथ में लड़कर तोड़गे आंतक की कमर, मिस्र के राष्ट्रपति से मिलकर और क्या बोले पीएम मोदी?
भारत-मिस्त्र संबंध आतंकवाद के खिलाफ भारत का साथ देगा ये मुस्लिम देश, दोनों देश साथ में लड़कर तोड़गे आंतक की कमर, मिस्र के राष्ट्रपति से मिलकर और क्या बोले पीएम मोदी?
हाईलाइट
  • पीएम मोदी ने मिस्र के राष्ट्रपति का किया स्वागत

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। गुरूवार को देश 74वां गणतंत्र दिवस मनाने जा रहा है। इस बार आयोजन हर तरह से खास रहने वाला है। कोविड प्रतिबंधों के बीते दो साल बाद देश खुले तौर से महापर्व का आनंद उठाने वाला है। केंद्र सरकार ने बीते साल सितंबर माह में राजपथ का नाम बदलकर कर्तव्य पथ रख दिया था। यह पहला मौका होगा जब यहां गणतंत्र दिवस की परेड होगी। इस खास मौके पर चीफ गेस्ट होंगे मिस्त्र के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल सीसी। यह पहली बार होगा जब किसी गल्फ कंट्री के एक राष्ट्राध्यक्ष गणतंत्र दिवस के कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में भाग लेंगे। 

तीन बार आ चुके हैं भारत दौरे पर

मिस्त्र के राष्ट्रपति भारत दौरे पर दो बार पहले भी आ चुके हैं। वह 24 जनवरी को भारत के तीसरे दौरे पर हैं। अब्देल फतेह का स्वागत पीएम नरेंद्र मोदी ने खुद किया। जिसके अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मायने निकाले जा रहे हैं। इससे पहले राष्ट्रपति अल सीसी साल 2014 में भारत के दौरे पर आए थे। जिनका पहला दौरा था। उस समय मिस्त्र के नए-नए राष्ट्रपति बनाए गए थे। जबकि दूसरा दौरा साल 2016 में रहा था। अब एक बार फिर वो भारत के दौरे पर हैं। वह भी भारत के महापर्व गणतंत्र दिवस के मुख्य अतिथि बनकर। 

आतंकवाद पर भारत मिस्त्र के साथ

कोविड पेनडेमिक की वजह से मिस्त्र की इकोनॉमी पूरी तरह से चरमरा गई है। महामारी की शुरूआत से अब तक देश करीब-करीब दिवालिया होता नजर आ रहा है। मिस्र पर कुल विदेशी कर्ज 170 अरब डॉलर हो चुका है। जिसकी वजह से महंगाई दर में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। हाल ही में देश में खाने-पीने के सामानों की कीमत में भारी इजाफा हुआ था। जिसकी वजह से लोगों ने सरकार के खिलाफ प्रदर्शन भी किए थे। जबकि भारत आज दुनिया की पांचवी सबसे बड़ी इकोनॉमी वाला देश बन गया है।

भारत कर्ज में डूबे मिस्त्र की मदद करने और अपने फायदे को भी देख रहा है। ओआईसी जो मुस्लिम देशों का एक संगठन है। जिसका हिस्सा मिस्त्र भी है। जहां पर वो आंतकवाद और कट्टरवाद के खिलाफ बोलता रहता है। भारत हमेशा से आंतकवाद के मुद्दे को लेकर सजग रहा है। राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मंचो पर आतंकवाद को बढ़ावा देने वाले देशों को आड़े हाथों लेता रहा है। मिस्त्र को आतंकवाद के खिलाफ देखते हुए भारत को एक साथी के तौर पर देखा जा रहा है।

आंतकवाद पर क्या बोले पीएम मोदी? 

पीएम नरेंद्र मोदी से मिस्त्र के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल सीसी ने मुलाकात की। जहां दोनों नेताओं के बीच कई अहम मुद्दों पर चर्चा हुई है। बातचीत के बाद पीएम मोदी ने दिल्ली में मिस्र के राष्ट्रपति के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में भाग लेते हुए कहा कि "हमारे बीच कई हजारों वर्षों का नाता रहा है। चार हजार वर्षों से भी पहले, गुजरात के लोथल पोर्ट के माध्यम से मिस्र के साथ व्यापार होता था। विश्व की स्थितियों में कई तरह की चुनौतियों के बावजूद मिस्र के साथ हमारे संबंध बने रहे। हमारे रिश्ते की नींव स्थिर रही है और समर्थन मजबूत हुआ है।"

पीएम ने आगे कहा कि, "इस साल भारत ने अपनी G-20 अध्यक्षता के दौरान मिस्त्र को अतिथि देश के रूप आमंत्रित किया है, जो हमारी विशेष मित्रता को दर्शाता है। हमने आज अपने रक्षा उद्योगों के बीच सहयोग को और मजबूत करने, काउंटर-टेररिज्म संबंधी सूचना व इंटेलिजेंस का आदान-प्रदान बढ़ाने का भी निर्णय लिया है। भारत और मिस्र दोनों वैश्विक स्तर पर आतंकवाद के बढ़ते मामलों को लेकर चिंतित है। हम दोनों अपने इस रुख से सहमत हैं कि आतंकवाद मानवता के लिए सबसे बड़ा खतरा है और इससे सबसे मजबूत नजरिए से निपटा जाना चाहिए।"


 

Created On :   25 Jan 2023 4:26 PM IST

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