आत्मनिर्भर भारत: मोदी सरकार का चीन को एक ओर झटका, रंगीन टीवी के आयात पर लगाया प्रतिबंध
- पहले लगाया एप्स प्रतिबंध
- अब टीवी की बारी
- भारत में रंगीन टीवी का चीन सबसे बड़ा निर्यातक
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारत सरकार ने गुरुवार को "आत्मनिर्भर भारत" की ओर एक और कदम बढ़ाते हुए रंगीन टीवी के आयात पर प्रतिबंध लगा दिया है। लद्दाख में चल रहे सीमा विवाद के बीच केंद्र सरकार का यह फैसला चीन के लिए एक और झटका माना जा रहा है। विदेश व्यापार महानिदेशालय (DGFT) ने एक अधिसूचना जारी कर कहा कि रंगीन टेलीविजन की आयात नीति को संशोधित किया गया है। इनकी आयात नीति को मुक्त हटाकर प्रतिबंधित श्रेणी में लाया गया है।
भारत में रंगीन टीवी का चीन सबसे बड़ा निर्यातक
बता दें कि किसी वस्तु को प्रतिबंधित श्रेणी में रखने का मतलब है कि उस सामान का आयात करने वाले कारोबारी को वाणिज्य मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले डीजीएफटी से आयात का लाइसेंस प्राप्त करना होगा। वहीं भारत में रंगीन टीवी का चीन सबसे बड़ा निर्यातक है। उसके बाद क्रमश: वियतनाम, मलेशिया, हांगकांग, कोरिया, इंडोनेशिया, थाईलैंड और जर्मनी जैसे देशों का स्थान है।
106 चीनी एप्स पर सरकार भारत में लगा चुकी है प्रतिबंध
बता दें कि 59 चाइनीज एप्स पर प्रतिबंध लगाने के बाद भारत सरकार ने चीन पर हाल ही में एक और डिजिटल स्ट्राइक करते हुए 47 एप्स पर प्रतिबंध लगा दिया था। ये सभी 47 एप्स पहले बैन हुए 59 एप्स के क्लोन और लाइट वर्जन हैं, हालांकि बैन हुए इन 47 एप्स के नाम अभी सामने नहीं आए हैं। वहीं इन एप्स पर प्रतिबंध को लेकर सरकार की ओर से अभी कोई आधिकारिक बयान भी नहीं आया है। कुछ एप्स के नाम सामने आए हैं जिनमें Tiktok Lite, Helo Lite, SHAREit Lite, BIGO LIVE Lite और VFY Lite शामिल हैं। ऐसे में भारत सरकार ने कुल 106 एप्स को भारत में प्रतिबंधित कर दिया गया है।
पबजी और यूलाइक जैसे एप पर लग सकता है प्रतिबंध
वहीं यह भी खबर है कि सरकार ने 275 चीनी मोबाइल एप की लिस्ट तैयार की है, जिन पर आने वाले समय में बैन लगाया जा सकता है। इस सूची में पबजी और जिली जैसे एप शामिल हैं। सूत्रों के मुताबिक सरकार इन मोबाइल एप की जांच कर यह पता लगाएगी कि कहीं यह प्राइवेसी के नियमों का उल्लंघन तो नहीं कर रहे हैं। इसके अलावा कई चीनी इंटरनेट कंपनियों पर भी प्रतिबंध लगाया जा सकता है। एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत सरकार 275 चीनी मोबाइल एप की सूची तैयार की है और इनकी जांच की जा रही है। इनमें पबजी गेम, जिली, कैपकट, फेसयू, Meitu, एलबीई टेक, परफेक्ट कॉर्प, सीना कॉर्प, नेटीज गेम्स, अलीएक्सप्रेस, रेसो और यूलाइक जैसे एप शामिल हैं।
सरकारी खरीदी में चाइनीज कंपनियां पहले ही बैन
एक ओर चीन से साथ भारत का सीमा विवाद चल रहा है तो भारत भी उसे हर मोर्चे पर जवाब दे रहा है। सरकारी कामों टेंडरों में सरकार ने चीनी कंपनियों का प्रवेश पहले ही प्रतिबंधित कर दिया है। केंद्र और राज्य सरकार की तरफ से किसी भी तरह की सरकारी खरीद में चाइनीज कंपनियां बोली में शामिल नहीं हो सकती हैं।
Created On :   31 July 2020 12:31 AM IST