भारतीय ज्ञान परंपरा: जातक कथाएं, पंचतंत्र, महाभारत पर काम हो रहा है : कुलपति प्रो. सुरेश
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भारतीय ज्ञान परंपरा का महत्व पर व्याख्यान
- सभी स्तरों पर भारतीय भाषा में होना चाहिए शिक्षा - अतुल कोठारी
- विकल्प का विमोचन एवं पोस्टर प्रदर्शनी का भी हुआ उद्घाटन
डिजिटल डेस्क,भोपाल। माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय के माखनपुरम परिसर में "राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भारतीय ज्ञान परंपरा का महत्व" विषय पर एक विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया। विश्वविद्यालय के नवसृजित भरत मुनि शोध पीठ द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम के मुख्य वक्ता शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास नई दिल्ली के राष्ट्रीय सचिव अतुल कोठारी थे।वहीं अध्यक्षता कुलपति प्रो (डॉ.) के.जी. सुरेश ने की। इस अवसर पर इलेक्ट्रॉनिक मीडिया विभाग के विद्यार्थियों द्वारा पोस्टर प्रदर्शनी भी लगाई गई, जिसका उदघाटन कुलपति प्रो. के.जी. सुरेश ने किया । इसके साथ ही पत्रकारिता विभाग के विद्यार्थियों द्वारा निकाले गए विकल्प समाचार पत्र का विमोचन भी किया गया।
इस अवसर पर कुलपति प्रो. सुरेश ने कहा कि भारतीय ज्ञान परंपरा को समझना जरुरी है। उन्होंने कहा कि साधारणीकरण सीमित न रह जाए इसलिए इसको आगे बढ़ाना है और इस पर हम सबको आगे काम करना है । प्रो. सुरेश ने डॉ. निर्मलमणि अधिकारी के इस बारे किए गए योगदान को भी याद किया । उन्होंने जातक कथाएं, पंचतंत्र, महाभारत का जिक्र करते हुए कहा कि इस पर काम हो रहा है । उन्होंने नवगठित भारतीय भाषा विभाग द्वारा इस दिशा में किए जा रहे सार्थक कार्य एवं प्रयास के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि आगामी सत्र में सिंधी भाषा एवं मराठी भाषा में पाठ्यक्रम भी प्रारंभ होने वाला है ।
मुख्य वक्ता श्री अतुल कोठारी ने कहा कि शिक्षा सभी स्तरों पर भारतीय भाषा में होना चाहिए । उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति का उद्देश्य ऐसे नागरिकों का निर्माण करना है जो विचार से, कार्य व्यवहार से भारतीय बने । श्री कोठारी ने कहा कि शिक्षा नीति का आधारभूत उद्देश्य चरित्र निर्माण एवं व्यक्तित्व का निर्माण करना है । व्याख्यान का समन्वय प्रो. गिरीश उपाध्याय ने एवं आभार प्रदर्शन कुलसचिव डॉ. अविनाश वाजपेयी ने किया। इस अवसर पर विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष, शिक्षक, अधिकारी, कर्मचारी विशेष रुप से उपस्थित थे । इस दौरान श्री अतुल कोठारी ने कुलपति प्रो. सुरेश के साथ माखनपुरम परिसर का भी भ्रमण किया।
Created On :   23 Dec 2023 3:17 PM IST