क्राइम: फर्जीवाड़े के रैकेट का भंडाफोड़, रामनगर के 2 युवक 13 एटीएम कार्ड के साथ गिरफ्तार

फर्जीवाड़े के रैकेट का भंडाफोड़, रामनगर के 2 युवक 13 एटीएम कार्ड के साथ गिरफ्तार
  • अमरपाटन पुलिस के हाथ लगी बड़ी सफलता
  • फर्जीवाड़े की रकम को खुर्दबुर्द करने वाले गिरोह के 2 बदमाशों को पकड़ा
  • एक खाते से निकालकर दूसरे एकाउंट में जमा करते थे रकम

डिजिटल डेस्क, सतना। मैहर जिले की अमरपाटन पुलिस ने फर्जीवाड़े की रकम को खुर्दबुर्द करने वाले गिरोह के 2 बदमाशों को 13 एटीएम कार्ड और नकदी समेत गिरफ्तार किया है, जिनके संबंध बांग्लादेश और पाकिस्तान से होने की बात सामने आ रही है। आरोपियों को कोर्ट में पेश कर 2 दिन की पुलिस रिमांड भी मंजूर कराई गई है। पुलिस कप्तान सुधीर कुमार अग्रवाल ने बताया कि रामनगर थाना क्षेत्र के बटइया निवासी रजनीश कुमार उर्फ दादे पुत्र भइयालाल पटेल 24 वर्ष और अमन पुत्र शिवकरण पटेल 20 वर्ष, निवासी रूझौड़ी, के संबंध जालसाजों से होने की बात पता चली, तो पुलिस टीम को सक्रिय किया गया। इसी बीच 7 मई को खबर मिली कि दोनों युवक अमरपाटन कस्बे में नगर पालिका कार्यालय के सामने स्थित यूनियन बैंक के एटीएम में मौजूद हैं, लिहाजा टीम भेजकर दोनों को हिरासत में ले लिया गया। तलाशी लेने पर रजनीश के कब्जे से 2 मोबाइल फोन, 15 हजार 7 सौ रुपए नकदी और 9 एटीएम कार्ड बरामद हुए, तो वहीं अमन से 1 फोन, 26 सौ नकदी, आधार कार्ड, पैन कार्ड व 4 एटीएम जब्त किए गए।

एक खाते से निकालकर दूसरे एकाउंट में जमा करते थे रकम

पकड़े गए आरोपियों से बरामद एटीएम कार्डों की जांच की गई तो सभी पर अलग-अलग खाताधारकों के नाम मिले। तब पुलिस ने दोनों लोगों से सख्ती से पूछताछ की तो पता चला कि कुछ समय पूर्व उनका सम्पर्क सलीम और अली नाम के लोगों से हुआ था, जिन्होंने जल्द अमीर बनने का प्रस्ताव रखते हुए अलग-अलग खाता नम्बर उपलब्ध कराने के लिए कहा, जिनमें समय-समय पर पैसे आते थे। इसके बाद रजनीश और अमन को खाताधारकों का एटीएम इस्तेमाल कर उक्त रकम निकालकर सलीम व अली के द्वारा बताए गए दूसरे खातों में जमा कराना होता था। इस काम के बदले दोनों को साढ़े 4 प्रतिशत कमीशन मिल रहा था। ऐसे में दोनों आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 420 और 120बी के तहत कायमी कर न्यायालय में पेश किया, जहां से आगे की जांच के लिए दो दिन की रिमांड मंजूर करा ली। पुलिस ने आरोपियों के बैंक पासबुक भी जब्त किए हैं, तो जिन खाता धारकों के एटीएम बरामद हुए उनको भी सवाल-जवाब के लिए बुलाया गया है। इस मामले में कई और चौकाने वाले खुलासे होने की संभावना है।

फोन और व्हाट्सएप पर मिलता था निर्देश

आरोपियों ने बताया कि फोन और व्हाट्सएप के जरिए पैसे निकालने और जमा करने के निर्देश मिलते थे। ऐसे में दोनों के फोन नंबरों की जांच के लिए साइबर सेल से भी सम्पर्क किया गया, जिसमें से एक नम्बर पाकिस्तान का होने की बात पता चली, तो दूसरा फोन नम्बर बांग्लादेश का मिला, वहीं तीसरे नम्बर की भी जांच की जा रही है। पड़ोसी देशों के फोन नम्बरों से आर्डर दिए जाने के तथ्य सामने आने पर पुलिस भी हैरत में पड़ गई है और तह तक पहुंचने के लिए जांच का दायरा भी बढ़ा दिया है। इस कार्रवाई में अमरपाटन टीआई केपी त्रिपाठी, एसआई आकाश बागड़े, एएसआई हरिलाल वर्मा, समरजीत कोल, प्रधान आरक्षक रामकरण प्रजापति, आरक्षक संतोष पटेल, साइबर सेल के आरक्षक सुशील द्विवेदी और मुकेश द्विवेदी ने अहम भूमिका निभाई।

इनका कहना है

पकड़े गए आरोपियों की जांच में यह बात पता चली है कि कुछ लोगों के कहने पर दोनों युवक भोले भाले ग्रामीणों के खाते हासिल करते थे, जिनमें पैसे जमा होते थे। उक्त रकम निकालकर दोनों लोग अपने हैंडलरों के बताए गए दूसरे बैंक खातों में जमा करते थे, जिसके बदले उन्हें कमीशन मिलता था। अभी जांच चल रही है, जिसमें सामने आए तथ्यों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।

सुधीर कुमार अग्रवाल, एसपी मैहर

Created On :   8 May 2024 5:18 PM GMT

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