New Delhi News: अध्ययन में खुलासा - कोविड टीके की वजह से नहीं हुई युवाओं की आकस्मिक मृत्यु

अध्ययन में खुलासा - कोविड टीके की वजह से नहीं हुई युवाओं की आकस्मिक मृत्यु
  • आईसीएमआर-एनआईई के अध्ययन में खुलासा
  • टीके के कारण आकस्मिक मृत्यु की संभावना कम

New Delhi News. कोरोना काल के बाद से अचानक हो रहे मौत के मामलों में वृद्धि हुई है। ज्यादातर युवाओं के मौत के मामले सामने आए हैं। इसकी चाहे जो वजह हो, लेकिन कोविड-19 टीकाकरण इसका कारण नहीं है। केंद्र सरकार ने शुक्रवार को दावा किया कि कोविड-19 टीकाकरण से देश में युवा वयस्कों की आकस्मिक मृत्यु नहीं हुई है।स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री प्रतापराव जाधव ने लोकसभा में शिवसेना (उद्धव) सांसद अनिल देसाई के पूछे गए एक सवाल के लिखित जवाब में यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) – नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एपिडेमियोलॉजी (एनआईई) ने मई-अगस्त 2023 के दौरान देश के 19 राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों में स्थित 47 अस्पतालों में एक अध्ययन किया है। “भारत में 18-45 वर्ष की आयु के वयस्कों में अस्पष्टीकृत आकस्मिक मृत्यु से जुड़े कारक-एक बहुकेन्द्रित मैच्ड केस-कंट्रोल अध्ययन” शीर्षक से किए गए इस अध्ययन में पाया गया कि कोविड-19 टीकाकरण से भारत में युवा वयस्कों में आकस्मिक मृत्यु का जोखिम नहीं बढ़ा है। कोविड-19 के कारण पूर्व में अस्पताल में भर्ती होना, आकस्मिक मृत्यु का पारिवारिक इतिहास और कुछ जीवनशैली संबंधी व्यवहारों के कारण आकस्मिक मृत्यु की संभावना बढ़ जाती है।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अध्ययन में पाया गया कि कोविड-19 वैक्सीन की कोई भी खुराक को लेने से अस्पष्टीकृत आकस्मिक मृत्यु की संभावना कम हो गई है। कोविड-19 के कारण पूर्व में अस्पताल में भर्ती होना, आकस्मिक मृत्यु का पारिवारिक इतिहास, मृत्यु से 48 घंटे पहले अत्यधिक शराब पीना, नशीली दवा का सेवन करना ताथ 48 घंटे पहले अत्यधिक तीव्रता वाली शारीरिक गतिविधि करने से अचानक मृत्यु की संभावना बढ़ी हुई पाई गई।

Created On :   4 April 2025 7:47 PM IST

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