माँ नर्मदा की अविरल धारा हमें जीवन, समृद्धि और खुशहाली देती है, इसे स्वच्छ और निर्मल बनाना हमारी जिम्मेदारी

लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह ने माँ नर्मदा के प्राकट्योत्सव पर नर्मदा तट गौरीघाट में दर्शन के लिए पहुँचे

डिजिटल डेस्क जबलपुर। पुण्य सलिला जीवनदायिनी माँ नर्मदा की अविरल धारा हमें जीवन देने के साथ ही हमारे जीवन में समृद्धि और खुशहाली देती है। हम सौभाग्यशाली हैं कि माँ के तट के किनारे हमें रहने का अवसर मिला है। इसलिए उनके प्राकट्योत्सव पर हमें मिलकर संकल्प लेना होगा कि माँ नर्मदा को स्वच्छ और निर्मल रखेंगे और दूसरों को भी इसके लिए प्रेरित करेंगे। यह बात लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह ने माँ नर्मदा के प्राकट्योत्सव पर नर्मदा तट गौरीघाट में कही।





कांधे पर पालकी रख नंगे पैर चले मंत्री




स्वामी गिरिशानंद सरस्वती महाराज के सान्निध्य में रेत नाका से निकाली गई माँ नर्मदा की पालकी यात्रा में लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह शामिल हुए। वे कांधे पर पालकी रखकर पैदल ही नंगे पाँव गौरीघाट तक गए। इसके बाद श्री सिंह ने गौरीघाट में सभी जनप्रतिनिधियों एवं कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर माँ नर्मदा का पूजन-अर्चन किया और उमाघाट पर माँ नर्मदा के इस छोर से दूसरे छोर गुरुद्वारे तक 11 सौ फीट लंबी चुनरी अर्पित की। इस दौरान हर-हर नर्मदे के जयकारे गूँजते रहे। इसके पूर्व मंत्री श्री सिंह ने वैदिक मंत्रोच्चार के बीच माँ नर्मदा का दुग्धाभिषेक िकया।

पार्किंग स्थल पर पार्क िकया वाहन, पैदल ही गए

मंत्री श्री सिंह वाहन से प्रशासन द्वारा गौरीघाट स्थित आयुर्वेदिक कॉलेज में बनाए गए पार्किंग स्थल पहुँचे। जहाँ उन्होंने अपना वाहन पार्क िकया। इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों ने घाट तक जाने के लिए वाहन का इंतजाम किया था पर मंत्री श्री सिंह ने स्पष्ट रूप से वाहन में जाने से मना कर िदया। उन्होंने कहा िक जिस तरह आम जनता घाट तक पहुँचेगी, वैसे ही वे भी जाएँगे। इसके बाद वे कार्यकर्ताओं के साथ पैदल ही आगे के लिए रवाना हुए।

तट पर बनी रही स्वच्छता

लोक निर्माण मंत्री की पहल पर ऐसा पहली बार हुआ िक माँ नर्मदा के प्राकट्योत्सव पर तटों पर भंडारे आयोजित नहीं हुए। इसके चलते हर वर्ष तटों पर फैलने वाली गंदगी नहीं हुई। घाट साफ-स्वच्छ नजर आए। भंडारों का आयोजन प्रशासन द्वारा निर्धारित झंडा चौक से पुराना रेलवे स्टेशन मार्ग पर किया गया। इससे आवागमन भी सुगम रहा।

नर्मदा का हर कंकर शंकर है

श्री सिंह ने कहा कि माँ नर्मदा जी मात्र नदी ही नहीं हैं, बल्कि कंकर-कंकर में शंकर को प्रकट करने वाली हैं। अपने पावन तट पर आद्य जगद््गुरु शंकराचार्य को सनातन संस्कृति को दिशा देने वाली रचनाओं की प्रेरणा प्रदान करने वाली हैं, साथ ही अन्नदाताओं को

समृद्धि प्रदान करने वाली हैं। उन्होंने कहा- पवित्र नदियों में स्नान से पुण्य फल प्राप्ति की मान्यता है जबकि माँ नर्मदा के दर्शन से ही कहीं ज्यादा पुण्य मिल जाता है। कल-कल, छल-छल प्रवाहित अविरल धारा हमें जीवन, समृद्धि और खुशहाली देती है, साथ ही सतत आगे बढ़ाने की प्रेरणा भी मिलती है।

ये रहे मौजूद




इस अवसर पर जगद््गुरु स्वामी राघव देवाचार्य, नगरीय प्रशासन एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू, विधायक अभिलाष पांडे, नगर अध्यक्ष प्रभात साहू, पंकज दुबे, अभय सिंह, अरविंद पाठक, ओंकार दुबे, मनीष दुबे, कौशल सूरी, राजीव बेंटिया, रूपा राव, शारदा कुशवाहा, जीतू कटारे, राहुल साहू, अतुल जैन दानी, अखिलेश तिवारी, डॉ. संजय चौधरी, रमाकांत मिश्रा, राजेंद्र सूर्यवंशी, मालती चौधरी, सीमा सिंह, भगवान चौधरी, पुष्कर सेंगर, लवलीन आनंद सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता उपस्थित थे।

Created On :   16 Feb 2024 11:13 PM IST

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