अध्ययन में खुलासा: रात का तापमान 15 से 20 डिग्री के बीच हो तो आती है अच्छी नींद, रहती है स्फूर्ती

  • बीते 5 वर्ष में मुंबई में औसतन 65, ठाणे में 70 रातें ऐसी रहीं
  • जलवायु परिवर्तन से उड़ रही नींद, हर साल बढ़ रही 25 डिग्री से ज्यादा गर्म रातों की संख्या

Bhaskar Hindi
Update: 2024-06-21 16:04 GMT

डिजिटल डेस्क, मुंबई। जलवायु परिवर्तन दिन का चैन ही नहीं रातों की नींद भी उड़ा रहा है। रात में गर्मी के कारण ठीक से नींद नहीं आती। मुंबई, नागपुर, पुणे ही नहीं महाराष्ट्र के कई शहरों के लोग इससे प्रभावित हैं। जानकारों के मुताबिक अच्छी नींद के लिए रात में तापमान 15 से 20 डिग्री के बीच होना चाहिए। पर्यावरण पर काम करनेवाली संस्था क्लाईमेट सेंट्रल और क्लाईमेट ट्रेंड्स के अध्ययन में यह खुलासा हुआ है। इसके अनुसार बीते 5 वर्ष में मुंबई में औसतन 65 रातें ऐसी रहीं, जब रात का तापमान 25 डिग्री से ज्यादा रहा। महामुंबई में शामिल ठाणे, भिवंडी, उल्हासनगर जैसे शहरों में हालत और भी खराब रही। पिछले 5 वर्ष में ठाणे और भिवंडी में औसतन 70 रातें और कल्याण-उल्हासनगर में 72 रातें ज्यादा गर्म रहीं। संस्था ने रात में 20 से 25 डिग्री तापमान के आधार पर 2018 से 2023 के बीच देश के विभिन्न शहरों की स्थिति का अध्ययन किया है। इसकी रिपोर्ट के अनुसार भारत में 25 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा गर्म रातों की संख्या में हर साल 50 से 80 दिन का इजाफा हो रहा है। आंकड़ों के विश्लेषण से यह भी पता चला कि पिछले 10 वर्ष (2014-2023) में गर्मी के मौसम में रात का न्यूनतम तापमान 25 डिग्री से अधिक रहा।

राज्य के 14 शहरों की रातें ज्यादा गर्म

महाराष्ट्र के 14 शहरों में 35 से 70 रातें ज्यादा गर्म रहीं। नागपुर में ऐसी 39 रातें रहीं। इसी तरह अकोला में अकोला में 41, भुसावल में 40 और अमरावती में 35 रातें ऐसी रहीं जब तापमान 25 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा दर्ज किया गया।

स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर

रिपोर्ट के अनुसार रात का तापमान बढ़ने के कारण लोगों की नींद प्रभावित हो रही है। नींद पूरी नहीं होने से लोगों के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है। इंटरनेशनल स्लीप फाउंडेशन के अनुसार, अच्छी नींद के लिए रात का तापमान 15.6-19.4 डिग्री सेल्सियस होना चाहिए।

दिन ही नहीं रात का भी तापमान बढ़ रहा

क्लाइमेट ट्रेंड्स की निदेशक आरती खोसला ने बताया कि दिन ही नहीं रात का भी तापमान पिछले कुछ साल में बढ़ा है। कई शहरों में 5 दशक के रिकॉर्ड टूट गए हैं। इससे स्पष्ट हो जाता है कि शहरों को जलवायु परिवर्तन का सबसे अधिक खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। आनेवाले समय में स्थिति और खराब हो सकती है। जीवाश्म ईंधन (डीजल-पेट्रोल) के इस्तेमाल में कटौती के बिना रात का तापमान 25 डिग्री सेल्सियस से नीचे नहीं गिरेगा।

नींद न पूरी हो तो इन बीमारियों का खतरा

कार्डियक सर्जन डॉ. प्रशांत मिश्र ने बताया कि नींद न पूरी होने पर हाई ब्लड प्रेशर, मधुमेह (डायबिटीज), मोटापा, मानसिक बीमारियां हो सकती है। किडनी भी प्रभावित होती है। रात में 7-8 घंटे की अच्छी नींद सेहत के लिए जरूरी है। इस दौरान हमारा शरीर रीचार्ज होता है।

बीते पांच वर्ष में राज्य के इन शहरों की रातें रहीं ज्यादा गर्म

शहर रातों की संख्या

अकोला- 41

भुसावल - 40

अमरावती- 35

धुलिया- 45

गोंदिया- 42

जलगांव- 40

कल्याण- 72

उल्हासनगर- 72

मुंबई-65

ठाणे- 70

भिवंडी- 70

नागपुर- 39

नांदेड- 37

परभणी- 36

सोलापुर- 12

लातूर-7

छत्रपति संभाजीनगर- 7

कोल्हापुर-3

नासिक- 3

धाराशिव- 5

सांगली- 6

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