जबलपुर: पेट्रोल की किल्लत थमी नहीं बसें भी बंद, भटकते रहे लोग

  • नये हिट एंड रन कानून के खिलाफ ड्राइवरों ने किया प्रदर्शन
  • साल के पहले दिन आईएसबीटी से निराश लौटे यात्री
  • शहर में सार्वजनिक परिवहन पर असर

Bhaskar Hindi
Update: 2024-01-02 09:53 GMT

डिजिटल डेस्क,जबलपुर।

नये हिट एंड रन कानून के विरोध में सोमवार को ट्रकों-बसों के ड्राइवरों ने वाहनों को नहीं चलाया और आईएसबीटी से लेकर जबलपुर-नागपुर-रीवा हाईवे पर प्रदर्शन किया। ड्राइवरों की हड़ताल के चलते दीनदयाल बस टर्मिनल से एक भी बस नहीं चल सकी। इसी तरह सभी सिटी बसों के पहिए थमे रहे। साल के पहले दिन परिवहन सेवाओं पर असर रहा। शहर के अंदर सीमित मात्रा में ऑटो चले, निजी वाहनों के साथ केवल ई-रिक्शा के भरोसे लोगों का यहाँ-वहाँ आना-जाना हो सका। चालकों ने आईएसबीटी में प्रदर्शन के दौरान कहा कि सरकार को नये कानून में जल्द से जल्द संशोधन करना चाहिए। यदि ऐसा नहीं होता है तो हम ट्रकों, बसों को नहीं चलने देंगे। गौरतलब है कि भारतीय न्याय संहिता 2023 में हुए संशोधन के बाद हिट एंड रन के मामलों में दोषी ड्राइवर पर 7 लाख रुपए तक का जुर्माना और 10 साल तक कैद का प्रावधान है। इसी नये कानून का विरोध ड्राइवरों के द्वारा किया जा रहा है।


50 हजार से ज्यादा यात्रियों पर असर

शहर में दीनदयाल बस टर्मिनल से हर दिन 15 से 20 हजार यात्री बसों से यात्रा करते हैं। इसी तरह सिटी बसों से हर दिन 15 से 20 हजार लोग सफर करते हैं। सेवाओं से जुड़े लोगों का कहना है कि बसों के सार्वजनिक परिवहन से औसत रूप से जबलपुर में 50 हजार लोग सफर करते हैं। यदि ज्यादा बसें टूर पर व अन्य प्रयोजन में नहीं गईं तो 450 बसें संचालित होती हैं, वहीं शहर में 80 बसें सिटी ट्रांसपोर्ट में लगी हुई हैं।

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