मणिपुर में फिर हिंसा, मिजोरम से मांगी मदद
- एक माह से जारी हिंसा
- सैकड़ों लोगों की गई जान
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। मणिपुर में एक बार फिर हिंसा की घटना सामने आई है। एक महीने से जारी मणिपुर हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है। अब हिंसा की आग इंफाल कांगपोकपी की सीमा पर पहुंच चुकी है। खबरों से मिली जानकारी के मुताबिक कुकी आदिवासी गांव हेंगजांग में भी गोलीबारी हुई है। इंफाल के सेकमाई इलाके में कुछ अज्ञात बदमाशों ने 2 प्रतिष्ठानों को बर्बाद कर दिया है। एक महीने से अधिक समय से जारी हिंसा की जंग में सैकड़ों लोगों की जान जा चुकी है।
मणिपुर में बवाल मैतई समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने के विरोध में हो रहा है। मैतई समाज की आरक्षण की मांग के विरोध में मणिपुर के पहाड़ी इलाकों में आगजनी गोलीबारी देखने को मिल रही है। मणिपुर में हिंसा की घटना पिछले महीने की तारीख 3 मई से देखने को मिल रही है। मैतई को एसटी आरक्षण के विरोध में मणिपुर में रहने वाले सभी आदिवासियों की ओर से एक साथ मिलकर आदिवासी एकजुटता मार्च निकाला जा रहा है।
आदिवासी संगठन इसलिए विरोध कर रहे है कि मणिपुर में मैतई समुदाय की आबादी 50 फीसदी से अधिक है, और जो पहले से ही प्रभावशाली है। इनकी ज्यादा तादाद इंफाल घाटी के आसपास है। जबकि आदिवासी लोग पहाड़ी जिलों में रहते है और इनकी तादाद कम है।
आदिवासी संगठन केंद्र और मणिपुर सरकार पर अनदेखी का आरोप लगा रहे है, वहीं सरकार मैतई समुदाय के पक्ष में खड़ी होते हुए नजर आ रही है। राजनीतिक जानकार इसे राजनीतिक फायदे के लिए उठाया गए कदम बता रहे है। जिसमें नुकसान मणिपुर की जनता को हो रहा है।
मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन ने मिजोरम में मैतई समुदाय की मदद के लिए मिजोरम के सीएम जोरमथांगा से फोन पर बात की। मणिपुर के सीएम ने पड़ोसी राज्य में शांति बहाल करने के लिए मिजोरम के सीएम जोरमथांगा से मदद मांगी है।
मिजोरम सीएम जोरमथांगा ने ट्विट करके बताया कि मणिपुर के मुख्यमंत्री ने एन बीरेने सिंह ने दोपहर 12:30 बजे मुझसे फोन पर बात की। मणिपुर में जारी हिंसा मुद्दे को हल करने में मेरी सहायता मांगी हैं कि अब से एक शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व होगा। इसके अलावा, अनुरोध है कि मिजोरम मैतई को शांतिपूर्वक व्यवस्थित करने के लिए साधन और उपाय किए जाएं। फोन पर मिजोरम सीएम हिंसा को लेकर दुख व्यक्त किया। मिजोरम सीएम ने कहा कि लोगों को मिजोरम में डरने की कोई बात नहीं है। हम उनके लिए सुरक्षा और सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए आगे बढ़ेंगे।
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Created On :   19 Jun 2023 12:07 PM IST