भारत का दूसरों की जमीन पर कब्जा करने का कोई इरादा नहीं, अगर कोई बुरी नजर डालेगा तो हम तैयार

Rajnath Singh says India has no intention to encroach on others land, we are ready if someone casts evil eye
भारत का दूसरों की जमीन पर कब्जा करने का कोई इरादा नहीं, अगर कोई बुरी नजर डालेगा तो हम तैयार
रक्षा मंत्री भारत का दूसरों की जमीन पर कब्जा करने का कोई इरादा नहीं, अगर कोई बुरी नजर डालेगा तो हम तैयार

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शनिवार को गलवान और तवांग की घटनाओं के दौरान बेजोड़ बहादुरी दिखाने के लिए भारतीय सेना की सराहना की।

नई दिल्ली में फेडरेशन ऑफ इंडियन कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (फिक्की) के 95वें वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए सिंह ने जोर देकर कहा कि भारत का दूसरे देशों की जमीन पर कब्जा करने का कोई इरादा नहीं है, लेकिन अगर कोई हमारी जमीन पर बुरी नजर डालने की कोशिश करता है तो हम हमेशा तैयार हैं। उन्होंने कहा कि भारत का लक्ष्य एक महाशक्ति बनना है जो दुनिया के कल्याण के लिए काम करे।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत सफलता की नई ऊंचाइयों को छू रहा है और 2014 में निवेश फर्म मॉर्गन स्टेनली द्वारा गढ़े गए फ्रैजाइल फाइव से फैबुलस फाइव की श्रेणी में प्रवेश कर गया है। भारत अब दुनिया की शीर्ष पांच अर्थव्यवस्थाओं में शामिल है। हमें 1991 से तीन ट्रिलियन अमरीकी डालर की अर्थव्यवस्था बनने में 31 वर्ष लगे। मुझे विश्वास है कि अगले तीन ट्रिलियन डॉलर अगले सात वर्षों में जोड़े जाने वाले हैं।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की विश्वसनीयता और निर्णय लेने की क्षमता के कारण भारत अब विश्व मंच पर एजेंडा तय करने वाला देश बन गया है। भारत की जी-20 की अध्यक्षता भारत के बढ़ते कद का प्रमाण है। जी-20 की थीम एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य है जिसके माध्यम से विकास का एक समावेशी और निर्णायक रोड मैप तय किया जाएगा। वसुधैव कुटुंबकम और विश्व कल्याण की भावना से प्रेरित होकर, हमारे प्रधान मंत्री ने आर्थिक और मानव विकास के लिए भारत के संकल्प को उन देशों के साथ साझा करने का निर्णय लिया है जो अभी तक कोविड-19 से उबर नहीं पाए हैं।

सिंह ने सरकार द्वारा किए गए प्रक्रियात्मक और संरचनात्मक सुधारों पर प्रकाश डाला, जिसने एक मजबूत, समृद्ध और आत्मनिर्भर न्यू इंडिया की दिशा में एक बड़ी छलांग लगाने के लिए जमीन तैयार की है। उन्होंने डिजिटल वित्तीय बुनियादी ढांचे, प्रधानमंत्री जन धन योजना, प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण और प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के निर्माण का उल्लेख किया, जो विशेष रूप से गरीबों के लिए वरदान साबित हुआ है।

सिंह ने भारतीय रक्षा क्षेत्र को मजबूत करने के लिए रक्षा मंत्रालय द्वारा किए गए कई सुधारों को बताया, जिसमें एफडीआई मानदंडों को सरल बनाना और स्वचालित मार्ग के तहत 74 प्रतिशत और सरकारी मार्ग के तहत 100 प्रतिशत की सीमा बढ़ाना शामिल है। उन्होंने कहा कि निजी क्षेत्र की भागीदारी को बढ़ावा देने के लिए 2022-23 में पूंजीगत खरीद बजट का 68 प्रतिशत घरेलू उद्योग के लिए निर्धारित किया गया है।

रक्षा मंत्री ने कहा- 2025 तक रक्षा उत्पादन को 12 बिलियन अमेरिकी डॉलर से बढ़ाकर 22 बिलियन अमेरिकी डॉलर करने के लिए सभी प्रयास किए जा रहे हैं। यह रक्षा क्षेत्र के लिए एक स्वर्णिम काल है क्योंकि इसने लड़ाकू विमान, विमान वाहक, मुख्य युद्धक टैंक और हमलावर हेलीकाप्टरों का निर्माण करके अपनी क्षमताओं का प्रदर्शन किया है। भ्भारतीय रक्षा उद्योग तेजी से बढ़ रहा है और अपनी वैश्विक उपस्थिति महसूस कर रहा है। यह न केवल बड़े कॉपोर्रेट्स, बल्कि स्टार्ट-अप्स और एमएसएमई को भी आकर्षित कर रहा है।

(आईएएनएस)

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Created On :   17 Dec 2022 7:00 PM IST

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