सीएम चेहरा: विधायकों की बाड़ेबंदी,बीजेपी के शीर्ष नेताओं की समझाइश के बाद वापस लौटे नए एमएलए
- राजस्थान में बीजेपी को बहुमत
- सीएम चेहरा घोषित करने में देरी
डिजिटल डेस्क, जयपुर। राजस्थान विधानसभा चुनाव में बहुमत से जीतने के बाद भी बीजेपी की ओर से अभी तक मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर संशय बना हुआ है। खबरों के मुताबिक इसी बीच विधायकों की बाड़ेबदी की मामला सामने आया। जिससे पार्टी में जयपुर से लेकर दिल्ली तक हलचल मच गई।
भाजपा आलाकमान ने सीएम नाम को लेकर अब तक कोई झंडी नहीं मिली है। मंगलवार रात को बीजेपी के पांच से अधिक विधायक एक कांग्रेस नेता के होटल में चले गए थे। बीजेपी के दिग्गज नेताओं ने जोर-जबरदस्ती कर उन्हें वापस बुलाया। इस दौरान हाथापाई होने की भी खबर है। बाद में भाजपा के बड़े नेताओं की समझाइश पर उन विधायकों को बीजेपी कार्यालय लाया गया। ऐसा ही एक मामला बुधवार को भी सामने आया। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली रोड स्थित एक होटल पर कुछ विधायक पहुंच गए थे। बीजेपी के शीर्ष नेताओं ने इस पर कोई टिप्पणी नहीं की है, लेकिन राजस्थान की सियासत की गहमागहमी को देखते हुए हर कोई सतर्क है। अब देखना यह है कि भाजपा किसे अपना सीएम चेहरा बनाती है।
खबरों के मुताबिक नतीजे आने वाले दिन 3 दिसंबर से तीन दिन पहले पूर्व सीएम वसुंधरा राजे ने निर्दलीय प्रत्याशियों के साथ पार्टी के जीतने वाले प्रत्याशियों को फोन लगाने शुरू कर दिए थे। नतीजे आने के अगले ही दिन करीब 45 विधायकों को अपने आवास पर खाने पर बुलाया। खबरों में इस दावत को राजे का शक्ति प्रदर्शन माने जाने लगा। हालांकि इसे लेकर वसुंधरा ने मीडिया से कहा कि वह पार्टी की एक अनुशासित सिपाही हैं। निर्वाचित विधायकों के साथ मेल-मुलाकात का दौर था।
आपको बता दें राजस्थान में विधायकों की बाड़ेबंदी का ये पहला मामला नहीं है ,तीन साल पहले जुलाई-2020 में सचिन पायलट ने बगावत की तो मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को भी सरकार बचाने के लिए दिल्ली रोड स्थित फेयरमाउंड होटल में बाड़ेबंदी करनी पड़ी थी। फेयरमाउंट के बाद विधायकों को जयपुर से निकालकर जैसलमेर स्थित किले नुमा पांचसितारा होटल में ले जाया गया था। ये बाड़ेबंदी कुल 37 दिन तक चली थी।
Created On :   7 Dec 2023 4:28 AM GMT