PM का असम दौरा: पीएम मोदी 'झुमोइर बिनंदिनी' कार्यक्रम में पहुंचे, लोगों को किया संबोधित, बजाया ड्रम, सीएम हिमंत बिस्वा सरमा भी रहे मौजूद

- पीएम मोदी 'झुमोइर बिनंदिनी' कार्यक्रम में पहुंचे
- पीएम मोदी ने लोगों को किया संबोधित
- पीएम मोदी ने बजाया ड्रम
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 'झुमोइर बिनंदिनी' कार्यक्रम में भाग लेने के लिए असम में गुवाहाटी के सरुसजाई स्टेडियम पहुंचने पर लोगों ने उनका स्वागत किया। उनके साथ मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा भी मौजूद हैं। पीएम मोदी ने असम के गुवाहाटी के सरुसजाई स्टेडियम में 'झुमोइर बिनंदिनी' कार्यक्रम में पारंपरिक ड्रम बजाया।
स्थानीय कलाकारों ने गुवाहाटी के सरुसजाई स्टेडियम में 'झुमोइर बिनंदिनी' कार्यक्रम में नृत्य प्रस्तुत किया। असम सरकार ने असम चाय उद्योग के 200 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में यह कार्यक्रम आयोजित किया है, जिसमें राज्य भर के चाय बागान क्षेत्रों से 8600 कलाकार झुमोइर प्रस्तुति कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "आज असम में यहां एक अद्भुत माहौल है। ऊर्जा से भरा माहौल है। उत्साह उल्लास और उमंग से ये पूरा स्टेडियम गूंज रहा है। झूमर नृत्य के कलाकारों की तैयारी हर तरफ नजर आ रही है। इस तैयारी में चाय बागानों की सुगंध भी है और उनकी सुंदरता भी है। चाय की खुशबू और चाय के रंग को एक चाय वाले से ज्यादा कौन जानेगा?"
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "मैं असम के काजीरंगा में रुकने वाला, दुनिया को उसकी जैव विविधता के बारे में बताने वाला पहला प्रधानमंत्री हूं। हमने कुछ ही महीने पहले असमिया को शास्त्रीय भाषा का दर्जा भी दिया है। असम के लोग अपनी भाषा के इस सम्मान का इंतजार दशकों से कर रहे थे।"
'चराईदेव मोइदम को यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल किया'
पीएम मोदी ने कहा कि ये भव्य आयोजन असम के गौरव से जुड़े हैं और भारत की समृद्ध विविधता का प्रतिनिधित्व करते हैं। विभिन्न देशों के 60 से अधिक राजदूत असम का अनुभव करने के लिए यहां आए हैं। कुछ महीने पहले ही हमने असमिया को शास्त्रीय भाषा का दर्जा दिया है। यह मान्यता असम के लोगों के लिए लंबे समय से प्रतीक्षित सम्मान है, जो दशकों से इसकी मांग कर रहे थे। इसके अलावा, असम के चराईदेव मोइदम को यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल किया गया है। इस मान्यता को प्राप्त करने में भाजपा सरकार के प्रयासों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है।
पीएम मोदी ने आगे कहा कि भाजपा सरकार असम के विकास और चाय जनजातियों को भी सहयोग देने के लिए काम कर रही है। चाय श्रमिकों की आय में सुधार के लिए असम चाय निगम के कर्मचारियों के लिए बोनस की घोषणा की गई है। यह पहल चाय बागानों में काम करने वाली महिलाओं के लिए विशेष रूप से फायदेमंद है, जिन्हें अक्सर गर्भावस्था के दौरान चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। लगभग 1.5 लाख गर्भवती महिलाओं को 15,000 रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है।
Created On :   24 Feb 2025 8:16 PM IST