संभल कुआं मामला: अब अगली सुनवाई 21 फरवरी को, सुप्रीम कोर्ट ने कहा- कोई भी कर सकता है कुएं का इस्तेमाल

अब अगली सुनवाई 21 फरवरी को, सुप्रीम कोर्ट ने कहा- कोई भी कर सकता है कुएं का इस्तेमाल
  • अब अगली सुनवाई 21 फरवरी को
  • कोई भी कर सकता है कुएं का इस्तेमाल- SC
  • दोनों समुदाय के वकीलों ने रखा अपना पक्ष

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। संभल में शाही मस्जिद के पास कुएं को हरि मंदिर का कुआं कहे जाने पर सियासत गर्म है। अब इस मामले पर संभल नगरपालिका के नोटिफिकेशन पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है। मस्जिद कमेटी पक्ष ने यथास्थिति बनाए रखने की मांग की थी। कमेटी का कहना है कि कुएं की खुदाई और उसे मंदिर का कुआं कहने से वहां पूजा शुरू हो जाएगी?

अब इस मामले की अगली सुनवाई 21 फरवरी को होगी। साथ ही, कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार से मामले को लेकर स्टेटस रिपोर्ट की मांग की है। चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की अध्यक्षता वाली बेंच ने साफ कर दिया है कि कुएं का इस्तेमाल कोई भी कर सकता है। इस पर किसी भी तरह का रोक नहीं है। बता दें कि, मस्जिद पक्ष के वकील ने कुआं को केवल मस्जिद पक्ष का बता रहे थे। साथ ही, मस्जिद पक्ष के वकील ने कुआं में किसी भी दूसरी तरह की गतिवधि नहीं करने की मांग की थी। कोर्ट ने कहा कि यह सार्वजनिक जगह पर बना कुआं है। मस्जिद के अलावा इसका इस्तेमाल दूसरे लोग भी कर सकते हैं।

कोर्ट ने कुएं को लेकर यथास्थिति बनाए रखने को कहा

यूपी सरकार के लिए पेश एडिशनल सॉलिसिटर जनरल के एम नटराज ने कहा कि कुआं सार्वजनिक जमीन पर है। हालांकि, मस्जिद पक्ष के वकील ने कहा कि आधा कुआं मस्जिद के भीतर है, आधा बाहर। कोर्ट ने फिलहाल कुएं को लेकर यथास्थिति बनाए रखने को कहा।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि उसका आदेश केवल एक कुएं तक सीमित है। जो मस्जिद के प्रवेश द्वार के पास है। संभल में जिन दूसरे कुओं और बावड़ियों की प्रशासन ने खुदाई करवा रहा है। उस पर कोई रोक नहीं लगाई गई है। इधर, हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने मीडिया से कहा कि 2006 तक हिंदू उस कुएं में पूजा करते थे। इलाके में एक समुदाय की संख्या बढ़ जाने से हिदुओं ने वहां जाना बंद कर दिया। अब उसे मस्जिद का कुआं साबित करने की कोशिश की है रही है। अगली सुनवाई में वह इस बारे में सबूत कोर्ट के सामने रखेंगे।

Created On :   10 Jan 2025 4:01 PM IST

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