त्रिपुरा में गिराई गई लेनिन की एक और मूर्ति, हिंसा जारी
डिजिटल डेस्क, अगरतला। त्रिपुरा में सत्ता के बदलाव के बाद शुरू हुआ बवाल ख़त्म होने का नाम नहीं ले रहा है। पूर्वोत्तर के इस राज्य में लेफ्ट को उखाड़ फेंकने का भारतीय जनता पार्टी का आह्वान हिंसक रूप लेता जा रहा है। बेलोनिया में लेनिन की विशाल मूर्ति पर बुलडोजर चलाने के बाद दक्षिण त्रिपुरा के सबरूम मोटर स्टैंड इलाके से लेनिन की एक और मूर्ती तोड़ने की घटना सामने आई है। बता दें कि इस वक्त देश भर में लेनिन की मूर्ती तोड़ने की जबरदस्त आलोचना हो रही है। हालांकि यह मूर्ती किसने तोड़ी अभी तक इस बात का पता नहीं लगाया जा सका है। बता दें कि शनिवार को राज्य में BJP सरकार को बहुमत मिलने के बाद से ही वामपंथी नेताओं और उनके प्रतीकों पर हमलों की खबर सामने आ रही है।
बढ़ती हिंसा से केंद्र चिंतित
त्रिपुरा में हिंसा के सवाल पर केंद्रीय मंत्री अनंत कुमार ने मीडिया से कहा, "त्रिपुरा में वामपंथियों ने हमारे 9 कार्यकर्ताओं को मार दिया। वहीं कर्नाटक में कांग्रेस के शासन में हमारे 24 कार्यकर्ता मारे गए। आने वाले चुनावों में जनता इसका मुंहतोड़ जवाब देगी।" बता दें कि पहली प्रतिमा तोड़े जाने के दौरान भारत माता की जय के नारे लगाए गए थे। इसी बीच त्रिपुरा में CPM के कई दफ्तरों में तोड़-फोड़ की घटनाएं सामने आई है। राज्य में बढ़ रही हिंसा की ख़बरों के बाद केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यपाल से बातचीत कर सरकार बनने तक हालातों पर नजर रखने को कहा है।
BJP-IPFT के कार्यकर्ताओं पर आरोप
इसी दौरान CPM ने इन सभी घटनाओं के लिए BJP और उसके सहयोगी दल आईपीएफटी के कार्यकर्ताओं पर आरोप लगाया। उनका कहना है कि CPM के कार्यकर्ताओं के घरों को भी निशाना बनाया जा रहा है। राज्य में बढ़ रही हिंसा को देखते हुए सीपीआई लीडर सीताराम येचुरी ने BJP और संघ को अपने निशाने पर लेते हुए कहा, "त्रिपुरा में जो हिंसा हो रही है ये स्पष्ट करती है कि आरएसएस-BJP का रुझान क्या है। हिंसा के अलावा उनका कोई राजनीतिक भविष्य नहीं है। त्रिपुरा की जनता इसका जवाब देगी।" वहीं कर्नाटक में BJP नेता एच राजा ने तर्कवादी नेता ई. वी. रामासामी‘‘ पेरियार’’ की प्रतिमाओं को ढहाने का ऐलान कर डाला है जिससे तमिलनाडु में बवाल मच गया है।
Created On :   7 March 2018 12:09 AM IST