माला का महत्व: घर पर आसानी से तुलसी माला बनाकर कर सकते हैं धारण, जानिए बनाने की प्रक्रिया

घर पर आसानी से तुलसी माला बनाकर कर सकते हैं धारण, जानिए बनाने की प्रक्रिया
  • घर पर आसानी से तुलसी माला बना सकते हैं
  • जानिए तुलसी माला बनाने का तरीका
  • तुलसी माला कब कर सकते हैं धारण?

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। बहुत लोगों को गले में माला पहनना पसंद होता है। श्रृंगार के अलावा धार्मिक कारणों से भी मालाएं पहनली जाती है। हिंदू धर्म में बहुत प्रकार के मोतियों को शुभ माना गया है। इन मोतियों से बनी माला को पहनना भी शुभ माना जाता है। मोती के अलावा तुलसी के माला का भी हिंदू धर्म में बहुत महत्व है। इसे बहुत पवित्र और लाभदायक माना जाता है। यह बाजार में आराम से मिल जाती है। हालांकि हम तुलसी माला खरीदते समय ये जरूर सोंचते हैं कि यह माला असली है या नहीं। बाजार में ढेरों मालाओं में यह पता लगाना बहुत मुश्किल होता है कि कैन सा असली है। इस दुविधा से बचने के लिए आप चाहें तो खुद घर पर तुलसी का माला तैयार कर सकते हैं। लेकिन सूखे हुए तुलसी के पौधे का ही तुलसी माला बनाएं। तुलसी का पौधा नवंबर से लेकर फरवरी के महीने में सूख जाता है। ऐसे में उस पौधे की सूखी डंडियों से आप घर पर तुलसी माला बना सकते हैं।

तुलसी माला बनाने के लिए सामग्री -

तुलसी के पौधे की 3-4 टहनियां (सूखी)

चाकू या ज्वेलरी कटर

हार्ड सैंड पेपर

मजबूत धागा या नायलॉन का धागा और सुई

इनर और आउटर ज्वेलरी लॉक

तिल का तेल या देसी घी

माला बनाने का तरीका

सबसे पहले सूखे तुलसी के पौधे की 3-4 टहनियां लें। ध्यान रहे कि टहनियां बहुत ज्यादा ना सूखी हो नहीं तो सुई डालने में परेशानी होगी। उसके बाद टहनियों को हार्ड सैंड पेपर पर घिस लें। इस से डंडियां क्लीन हो जाएंगी और गांठ भी निकल जाएगी। साफ करने के बाद उसको ज्वेलरी कटर या धारदार चाकू की मदद से मोती के आकार में काट लें। ध्यान रहे कि मोती एक ही साइज के हों। कोशिश करें कि आप 108 मोतियों कि ही तुलसी माला बनाएं। आप उससे ज्यादा मोती भी डाल सकते हैं। हिंदू धर्म में 108 का महत्व बहुत ज्यादा है इसलिए 108 मोतियों का ही इस्तेमाल करने की कोशिश करें। इसके बाद आप माला गूथने के लिए नायलॉन का इस्तेमाल करें. नायलॉन का धागा काफी मजबूत होता है, आप इसे अपने हाथों से नहीं तोड़ सकते हैं। आप चाहें तो अपने पुराने तुलसी माला के धागे का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि नायलॉन धागा बहुत मजबूत होता है।

मोतियों को डालने से पहले उसमें इनर ज्वेलरी लॉक डालें उसके बाद उसमें तुलसी की मोतियों को डालना शुरू करें। सारी मोतियों को डालने के बाद आउटर ज्वेलरी लॉक को लगाएं और मजबूत गांठ बांध दें। पूरा माला तैयार होने के बाद माले को एक पूरे दिन के लिए तिल के तेल में या गर्म देसी घी में डालकर रख दें। ऐसा करने से मोतियों में चमक आती है और मजबूती भी बढ़ती है। आप इस माले को पहन सकते हैं, किसी को दे सकते हैं या मंदिर में रख सकते हैं।

तुलसी माला कब कर सकते हैं धारण?

तुलसी माला धारण करने के लिए सबसे अच्छा और शुभ समय प्रदोष काल को माना जाता है। आप चाहें तो सोमवार, गुरुवार या बुधवार को भी धारण कर सकते हैं। लेकिन ध्यान रहे कि रविवार या अमावस्या के दिन धारण ना करें। तुलसी माला को धारण करने से पहले इस पर गंगाजल छिड़क कर शुद्ध कर लेना चाहिए। आप यह माला गले के अलावा कलाई पर भी धारण कर सकते हैं।

Created On :   14 Jun 2024 12:37 PM GMT

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