हेल्थ: क्या आप भी हैं डिप्रेश, कमरदर्द और सिरदर्द के शिकार? पर्वतासन दिलवा सकता है इन परेशानियों से निजात, इन बातों पर दें ध्यान
- हेल्दी रहने के लिए कसरत करना है जरूरी
- पर्वतासन से डिप्रेशन, कमरदर्द के साथ सिरदर्द से भी मिलता है छुटकारा
- इन चीजों का रखें ध्यान
डिजिटल डेस्क, भोपाल। आज-कल की लाइफस्टाइल को देख कर ऐसा लगता है कि अगर हम कसरत नहीं करेंगे तो बड़ी ही जल्दी कई बीमारियों की गिरफ्त में आ सकते हैं। हेल्दी रहने के लिए एक्सरसाइज करना बड़ा ही जरूरी है। एक्सरसाइज से शरीर लचीला और ताकतवर हो जाता है। शरीर को ताकतवर बनाने के लिए काफी सारे आसन किए जाते हैं, जिनमें से एक पर्वतासन है। पर्वतासन को माउंटेन पोज के नाम से भी जाना जाता है। यह शरीर को अच्छी तरह से स्ट्रेच कर के लचीला बना देता है। बस इतना ही नहीं बल्कि इस आसन को करने से आपकी ताकत बढ़ जाएगी।
अगर आपको अक्सर कमर दर्द की या सिरदर्द की शिकायत रहती है तो पर्वतासन करने से आप इन परेशानियों से निजात पा सकते हैं। यह आसन कमर के दर्द और सिर के दर्द से छुटकारा दिलवाने के लिए बड़ा ही कारगर साबित होता है। इस आसन को लगातार करने से डिप्रेशन से आराम पाया जा सकता है। यह आसन लाभदायक तो है ही लेकिन इसको सही तरह से करने के लिए कुछ खास बातों का ध्यान रखना जरूरी है। चलिए जानते हैं वह खास बातें कौन सी है।
पोश्चर का ध्यान रखें
पर्वतासन करते समय सबसे जरूरी यह है कि आपका बॉडी पोश्चर सही हो। पोश्चर सही रखने के लिए आपके शरीर का एलाइनमेंट ठीक होना चाहिए। इस आसन को करने के लिए दोनों पैरों के बीच थोड़ा गैप होना चाहिए। हिप की चौड़ाई के हिसाब से आपके पैरों के बीच में गैप होना चाहिए। अपने शोल्डर्स, नी, घुटनों और हिप को एक साथ लाकर एलाइन कर लें। इस बात का ध्यान रखें कि आसन करते समय आपको अपनी पीठ ज्यादा नहीं उठानी है।
सांस पर ध्यान दें
अक्सर लोगों को यह समझ नहीं आता की सांस कब लेनी है और कब छोड़नी है। कई बार लोग पर्वतासन करते समय अपनी सांसें रोक लेते हैं। लेकिन यह सही तरीका नहीं है। जब आप अपनी रीढ़ की हड्डी को सीधा करें या उठाएं तब लंबी और गहरी सांस लें। आपको इस बात का ध्यान रखना है कि जब आप अपनी स्पाइन को खीचें तो लंबी सांस लें न की सांसों को होल्ड कर लें।
ज्यादा स्ट्रेचिंग से बचें
जब लोग नया- नया आसन करना शुरू करते हैं तो जरूरत से ज्यादा स्ट्रेचिंग कर लेते हैं। ज्यादा शरीर को परेशान करने से दिक्कल हो सकती है। इसलिए बॉडी को अधिक न खीचें। अगर कभी आसन के बीच में आपको खिंचाव महसूस होता है तो तुरंत रुक जाएं और रेस्ट करें।
बैलेंस बनाएं
अगर आपके पैर ठीक तरह से जमीन पर नहीं रखे होंगे तो आपको बैलेंस करने में कठिनाई आएगी। सही तरह बैलेंस बनाने के लिए समतल जमीन पर खड़े हों न की ऊबड़- खाबड़ जमीन पर। जमीन पर खडें होने के बाद दोनों पैरों के ऊपर बराबर बॉडी वेट डालें। ऐसा करने से आपका बैलेंस बना रहेगा और आप गिरेंगे नहीं।
मदद लेने से न हिचकिचाएं
अगर आपका बैलेंस नहीं बन पा रहा हो या एलाइनमेंट में परेशानी आ रही हो तो किसी चीज का सहारा लेने से न हिचकिचाएं। शुरू-शुरू में ऐसा देखा जाता है की बैलेंस करने में दिक्कत आती है। बैलेंस बनाने के लिए आप किसी इंसान की भी मदद ले सकते हैं। अगर आस-पास कोई न हो तो ऐसे में आप अपने ही पास मौजूद प्रॉप्स का इस्तेमाल करें और बैलेंस करने की कोशिश करें। प्रॉप्स यूज करने से आप गिरने से बच जाएंगे और आपको चोट नहीं लगेगी।
डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (डॉक्टर/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।
Created On :   27 July 2024 5:45 PM IST