हेल्थ टिप्स: आपका पसंदीदा स्ट्रीट फूड कर सकता है आपकी हेल्थ बेहद खराब, शरीर की भलाई चाहते हैं तो हो जाएं सावधान

  • मोमोज के शौकीन हो जाएं सावधान
  • कैंसर का हो सकता है खतरा
  • ज्यादा मोमोज खाने से बढ़ता है वजन

Bhaskar Hindi
Update: 2024-11-10 11:47 GMT

डिजिटल डेस्क, भोपाल। अगर आप फूड लवर हैं तो मोमोज के लिए आपके दिल में सॉफ्ट कॉर्नर जरूर होगा। मोमोज कई लोगों की पसंद है। लेकिन आपकी यह पसंद आपकी सेहत के लिए बेहद खतरनाक है। मोमोज का कच्चा मैदा और कच्ची सब्जियां जल्दी डाइजेस्ट नहीं होती। मोमोज के मैदे में एजोडिकार्बोनामाइड, क्लोरीन गैस, बेंजोयल पेरोक्साइड जैसे कई नुकसानदायक केमिकल्स मिलाए जाते हैं जिससे इंसुलिन प्रोडक्शन कम हो जाता है। चलिए जाते हैं इसके अलावा मोमोज खाने से क्या बिमारीयां होती हैं।

मोमोज खाने से होंगी यह बीमारियां

गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल इंफेक्शन

मोमोज का कच्चा मैदा और कच्ची सब्जियां पेट में जाकर कई बीमारियों के लिए दावत है। आंतों में चिपका मैदा जल्दी न पचने से पेट दर्द, कांसटीपेशन, ब्लोटिंग और इनडाइजेशन जैसी परेशानियां होती हैं। मोमोज में डलने वाली सब्जियां कई दिनों तक रखी रहती हैं जिसमें बैक्टीरिया पनपने लगता है।

तेजी से बढ़ता है वजन

मोमोज खाने से शरीर में फैट बढ़ता है। इस डिश में मोनोसोडियम ग्लूटामेट और ज्यादा मात्रा में कैलोरी होती है जिससे मोटापे का सामना करना पड़ता है। तले मोमोज के तेल से बीमारियां होती हैं क्योंकि इसमें चीप क्वालिटी का ऑयल यूज किया जाता है।

कैंसर का खतरा

मोमोज में इस्तेमाल होने वाला अजीनोमोटो, प्रिजर्वेटिवस, मसाले और सब्जियां आंतों में जाकर चिपक जाती है जिससे कैंसर का खतरा होता है। इतना ही नहीं बल्कि चटनी में डले आर्टीफीशियल कलर से भी कैंसर होता है।

कोलेस्ट्रॉल का जोखिम

शरीर में दो तरह के कोलेस्ट्रॉल होते हैं। एक गुड और दूसरा बैड। फ्राइड मोमोज खाने से बॉडी में बैड कोलेस्ट्रॉल बढ़ता है। बैड कोलेस्ट्रॉल से हार्ट अटैक का जोखिम होता है।

फूड पॉइजनिंग

रोड साइड पर मिलने वाले मोमोज बिलकुल भी सफाई से नहीं बनाए जाते। मोमोज बनाने के लिए कई दिन पुरानी सब्जियों का बिना धोए इस्तेमाल किया जाता है। बासी सब्जियों में कई तरह के बैक्टेरिया पैदा हो जाते हैं जिससे फूड पॉइजनिंग होती है। फ्राइड मोमोज बनाने के लिए ऑयल को बिना बदले उसी तेल में बार-बार बनाते हैं। खराब तेल से फैट बढ़ने के साथ फूड पॉइजनिंग का खतरा बढ़ जाता है।

डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (डॉक्टर/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।

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