National Safe Motherhood Day: मां बनने का अहसास है सबसे खास, रखें ये सावधानियां
National Safe Motherhood Day: मां बनने का अहसास है सबसे खास, रखें ये सावधानियां
डिजिटल डेस्क, मुम्बई। कहते हैं एक औरत की जिंदगी का सबसे खूबसूरत पल वह होता है, जब वो मां बनती है! मां बनने का अहसास सिर्फ एक औरत ही समझ सकती है। यही तो वह वक्त होता है, जब एक स्त्री सारे दर्द सहकर भी खुश हो जाती है। दुनिया के सारे सुख एक तरफ और मां बनने का सुख एक तरफ। इस दौरान महिलाओं को कई सावधानियां रखनी चाहिए। ताकि वे अपने अपने मदरहुड को एंजॉय कर सकें। हालांकि कई महिलाओं को यह नहीं पता होता कि प्रेग्नेंसी के दौरान उन्हें क्या करना चाहिए और क्या नहीं। आज नैशनल सेफ मदरहुड डे (National Safe Motherhood Day) है और इस मौके पर आइए जानते हैं कि प्रेगनेंट महिलाओं को क्या करना चाहिए और क्या नहीं। साथ ही उन्हें किन-किन चीजों से दूर रहना चाहिए।
प्रेग्नेंट लेडी को हमेशा स्ट्रेस और टेंशन से दूर रहना चाहिए। आप जितना स्ट्रेस लेंगी, आपके बच्चे पर भी उतना ही असर होगा।
अक्सर हम दर्द वगैरह की दवाई यूं ही बिना किसी डॉक्टर की एडवाइस के खा लेते हैं, लेकिन प्रेंग्नेंसी में ऐसा न करें। डॉक्टर की सलाह के बिना कोई भी दवाई न लें।
गर्मवती महिलाओं को बिल्ली भी नुकसान पहुंचा सकती है, क्योंकि बिल्ली के मल में टॉक्सोप्लाज्मा (Toxoplasma) नाम का एक पैरासाइट होता है जिसकी वजह से जानवरों से लेकर पक्षियों और मनुष्यों में Toxoplasmosis नाम का एक इंफेक्शन हो सकता है। इस इंफेक्शन की वजह से प्रेग्नेंसी में काफी समस्या हो सकती है।
प्रेंग्नेंसी में महिलाओं को अक्सर कमर और पेट में दर्द होता रहता है। ऐसे में उन्हें लगता है कि हॉट बाथ ले लें। जिससे उन्हें आराम मिल सके, लेकिन बढ़े तापमान की वजह से पहली तिमाही के दौरान बर्थ डिफेक्ट की समस्या आ सकती है। हॉट बाथ के बजाय आप हल्के गुनगुने पानी से सिकाई कर सकती हैं।
महिलाएं अक्सर अपने फैशन को लेकर बहुत अवेयर रहती हैं। अपनी ड्रेस के अनुसार उन्हें हाई हील, पहनना भी बहुत पसंद होता है, लेकिन प्रेंग्नेंसी के दौरान इससे दूरी बना लें। दरअसल जब आपका पेट बढ़ता है तो सेंटर ऑफ ग्रैविटी भी बदल जाता है। इस वजह से आपको अपने पैरों पर खड़े होने में दिक्कत आती है। इसके अलावा पैरों पर सूजन भी आ जाती है जिसकी वजह से हाई हील्स पहनने पर आप गिर भी सकती हैं।
अगर आप मां बनने वाली हैं तो काफी पीना भी आपका छोड़ना होगा। विशेषज्ञों के मुताबिक, कॉफी पीने से भ्रूण कैफीन के संपर्क में आता है और गर्भ में पल रहे बच्चे इसके प्रति काफी संवेदनशील होते हैं। स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को भी कॉफी न पीने की सलाह दी जाती है, क्योंकि इससे उनके बच्चे बेचैन और चिड़चिड़े होने लगते हैं।
जो महिलाएं स्मोकिंग और ड्रिंकिंग करती हैं, उन्हें प्रेग्नेंसी के दौरान इससे दूर रहना चाहिए, क्योंकि जब हम स्मोक करते हैं तो ब्लड वेसल्स टाइट हो जाती हैं। चूंकि नाल (Placenta) ब्लड वेसल्स से भरा होता है ताकि भ्रूण को जरूरी पोषक तत्व मिल सकें, लेकिन स्मोकिंग और ड्रिंकिंग की वजह से ये ब्लड वेसल्स सिकुड़ जाती हैं जिससे आपके शिशु तक पोषण नहीं पहुंच पाता।