SPACE: NASA का अगला मिशन- वीनस, जुपिटर मून, नेपच्यून?
SPACE: NASA का अगला मिशन- वीनस, जुपिटर मून, नेपच्यून?
- अगले साल इसका फाइनल डिसिजन लिया जाएगा
- अमेरिका की स्पेस एजेंसी NASA ने 4 डिस्कवरी प्रोग्राम सिलेक्ट किए
- दो प्रपोजल शुक्र ग्रह
- एक बृहस्पति के चंद्रमा IO और नेपच्यून के चंद्रमा ट्राइटन का
डिजिटल डेस्क, वॉशिंगटन। अमेरिका की स्पेस एजेंसी NASA ने चार डिस्कवरी प्रोग्राम सिलेक्ट किए हैं। इनमें से दो प्रपोजल शुक्र ग्रह(Venus), एक प्रपोजल बृहस्पति(Jupiter) के चंद्रमा आईओ(Io) और नेपच्यून(Neptune) के चंद्रमा ट्राइटन(Triton) की ट्रिप के लिए है। 9 महीनों की कॉन्सेप्ट स्टडी के पूरा होने के बाद नासा इनमें से कुछ मिशनों पर आगे बढ़ने के अपने प्लान को रोक सकता है। अगले साल इसका फाइनल डिसिजन लिया जाएगा।
VERITAS:
वीनस एमिसिविटी, रेडियो साइंस, इनसार, टोपोग्राफी, एंड स्पेक्ट्रोस्कोपी का उद्देश्य यह पता लगाना होगा कि पृथ्वी से शुक्र ग्रह इतना अलग क्यों विकसित हुआ।
TRIDENT:
इसका उद्देश्य नेप्च्यून के बर्फीले चंद्रमा, ट्राइटन को एक्सप्लोर करना है, ताकि वैज्ञानिक सौर मंडल में रहने योग्य दुनिया के विकास को समझ सकें।
IVO:
आईओ वॉलकेनो ऑब्जर्वर बृहस्पति के चंद्रमा आईओ को एक्सप्लोर करने का एक प्रपोजल है, जो कि ज्वालामुखीय रूप से सक्रिय है। इससे यह पता लगाने की कोशिश की जाएगी कि ज्वारीय बल ग्रहों की बॉडी को कैसे आकार देते हैं। इसकी फाइंडिंग से सोलर सिस्टम में रॉकी, टेरेस्टेरियल बॉडी और बर्फीले महासागरों के निर्माण और विकास के बारे में अधिक जानकारी मिल सकती है।
DAVINCI +:
डीप एटमॉस्फेयर वीनस इन्वेस्टिगेशन ऑफ नोबल गैस, केमिस्ट्री एंड इमेजिंग प्लस। यह शुक्र के वायुमंडल का विश्लेषण करेगा यह समझने के लिए कि यह ग्रह कैसे बना और विकसित हुआ था। यह भी पता लगाने की कोशिश की जाएगी कि क्या यहां पर कभी महासागर था। यह टेरेस्टेरियल प्लेनेट के फॉर्मेशन की समझ को आगे बढ़ाएगा।