ऑस्ट्रेलियाई सरकार म्यांमार में सैन्य तख्तापलट के बाद के हालात पर रख रही नजर
सैन्य तख्तापलट के बाद सरकार ऑस्ट्रेलियाई सरकार म्यांमार में सैन्य तख्तापलट के बाद के हालात पर रख रही नजर
- शरणार्थी मुद्दे पर सरकार के साझा विचार
डिजिटल डेस्क, आइजोल। मिजोरम के आधिकारिक दौरे पर आए ऑस्ट्रेलियाई सीनेटर डीन स्मिथ ने गुरुवार को राज्य के राज्यपाल हरि बाबू कंभमपति से कहा कि उनकी सरकार पिछले साल फरवरी में वहां सैन्य तख्तापलट के बाद से म्यांमार के हालात पर नजर रखे हुए है।
राजभवन के एक अधिकारी ने कहा कि राज्यपाल और ऑस्ट्रेलियाई सीनेटर ने म्यांमार शरणार्थी मुद्दे के बारे में बात की और मिजोरम कैसे स्थिति को संभाल रहा है।
कंभमपति ने स्मिथ को राज्य में म्यांमार के शरणार्थियों की संख्या और नागरिक समाज से मानवीय आधार पर मिल रही मदद करने के बारे में जानकारी दी। सीनेटर ने शरणार्थी मुद्दे पर ऑस्ट्रेलियाई सरकार के विचार साझा किए।
उन्होंने ऑस्ट्रेलिया में चिन समुदाय (एक आदिवासी समुदाय) की स्थिति को भी साझा किया और बताया कि कैसे ऑस्ट्रेलियाई सरकार म्यांमार में सैन्य तख्तापलट के बाद की स्थिति पर नजर रख रही है। राज्यपाल ने व्यापार और अन्य क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच बढ़ती साझेदारी पर भी प्रसन्नता व्यक्त की। स्मिथ ने कंभमपति से कहा कि भारत-ऑस्ट्रेलिया के बीच संबंध अब पहले से कहीं ज्यादा मजबूत हैं।
आधिकारिक रिकॉर्ड के अनुसार, लगभग 30,400 म्यांमार शरणार्थियों में से अधिकांश सभी 11 जिलों में 156 शिविरों में मिजोरम में शरण लिए हुए हैं। म्यांमार के लोगों को राज्य सरकार, गैर सरकारी संगठनों, चर्चो और गांव के अधिकारियों द्वारा भोजन, दवाएं और अन्य राहत सामग्री दी जाती है।
पिछले साल फरवरी में पड़ोसी देश में सेना प्रमुख जनरल मिन आंग हलिंग के नेतृत्व में सेना ने सत्ता पर कब्जा कर लिया था। उसके बाद म्यांमार के नागरिकों ने मिजोरम में शरण ली थी। मिजोरम म्यांमार के साथ 510 किलोमीटर की बिना बाड़ वाली सीमा साझा करता है।
आईएएनएस
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