मंकी बी वायरस से पहली मौत के बाद हड़कंप, जानिए इस संक्रमण से कैसे बच सकते हैं?

मंकी बी वायरस से पहली मौत के बाद हड़कंप, जानिए इस संक्रमण से कैसे बच सकते हैं?

Bhaskar Hindi
Update: 2021-07-22 09:11 GMT
हाईलाइट
  • कोरोना के बाद मंकी बी वायरस
  • चीन में मंकी बी वायरस से पहली मौत

डिजिटल डेस्क, चीन। कोरोना का संकट अभी गया नहीं और इसी के बीच चीन में एक नए वायरस से इंसान को संक्रमित करने का मामला सामने आया है जिसका नाम है मंकी बी वायरस। यह वायरस बंदरो के संपर्क में आने से फैलता है। इस मंकी बी वायरस की वजह से संक्रमित हुए एक पशुओं के डॉक्टर की मौत का पहला मामला सामने आया है बताया जा रहा है कि डॉक्टर मार्च महीने में दो मरे हुए बंदरो के संपर्क में आ गये थे। यह चीन में इस वायरस का पहला मामला है जो इंसान में पाया गया।
चीन की एक आधिकारिक रिपोर्ट यह बताया गया है कि मंकी बी वायरस  कोरोना वायरस से भी ज्यादा घातक है क्योंकि इसके संक्रमित हुए लोगों के मृत्यु दर 70 से 80 प्रतिशत है जबकि कोरोना वायरस से संक्रमित हुए 1000 लोगों में से करीब 9 लोगों की मृत्यु होने का खतरा रहता है। पशु चिकित्सक जिनकी मौत हुई है उनकी उम्र 52 वर्ष थी और वह जानवरों पर अनुसंधान करने वाली संस्था में काम करते थे। इस बात की जानकारी सरकारी अखबार "ग्लोबल टाइम्स" ने अपनी रिपोर्ट के जरिये दी है। पशु चिकित्सक ने मार्च के महीने में दो मरे हुए बंदरो पर शोध किया था जिसके बाद उनमें इस वायरस के शुरुआती लक्षण दिखना शुरु हो गये जैसे जी मचलाना, उल्टी होना। 
रिपोर्ट के मुताबिक संक्रमित डॉक्टर का कई हॉस्पिटल में इलाज चल रहा था पर 27 मई को उनकी मृत्यु हो गई हालांकि उन संक्रमित डॉक्टर के करीबी लोग जो उनके संपर्क में आए उनमें इस वायरस के संक्रमण नहीं पाया गया। इसी के चलते यह मंकी बी वायरस का पहला इंसान को संक्रमित करने का मामला है। 

मंकी बी वायरस क्यों है जानलेवा?
मंकी बी वायरस का पहला मामला 1932 में सामने आया था। चीन के सीडीसी के अनुसार यह वायरस किसी मृत बंदर के सम्पर्क में आने से फैलता है या फिर किसी बंदर की लाश से निकलते हुए पानी से अगर कोई संपर्क में आ जाता है तो उस व्यक्ति के संक्रमित होने का खतरा होता है। इस वायरस को बेहद घातक और जानलेवा इसलिए माना जा रहा है क्योंकि इससे संक्रमित हुए लोगों का मृत्यु दर 70 से 80 फिसदी तक है। अमेरिका के नेश्नल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन के अनुसार जब मंकी बी वायरस इंसान के शरीर में प्रवेश करता तब ये वायरस हमारे शरीर के नर्वस सिस्‍टम पर हमला करता है। चीन की सीडीसी के अनुसार इस वायरस के शुरुआती लक्षण एक से तीन हफ्तों के भीतर दिखने लगते हैं।

क्या है मंकी बी वायरस के लक्षण ?

  • बुखार और ठंड लगना 
  • सिर दर्द होना 
  • थकान 
  • शरीर में दर्द होना 
  • न्यूरोलॉजिकल लक्षण जैसे भूलने की आदत 

ये वायरस फैलता कैसे है?
यह वायरस किसी मृत बंदर के संपर्क में आने से या फिर किसी बंदर की लाश से निकलते हुए पानी के संपर्क में आने से फैलता है। इसके अलावा अगर कोई संक्रमित बंदर किसी व्यक्ति को काट ले तो उसमें भी यह वायरस फैल जाता है। 

इस वायरस से कैसे बचा जाए?
अभी तक इस वायरस की कोई भी वैक्सीन नहीं आई है, इसलिए जानकारों ने यह बताया है कि अगर किसी व्यक्ति को कोई बंदर काट ले या खरोच ले, तो उस हिस्से को अच्छे से धोकर फिर उसे कीटाणुनाशक से साफ कर लें। अगर व्यक्ति में कुछ लक्षण दिखने लगे तो वो बिना देर किये डॉक्टर को दिखाए।
 

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